लेख
04-Feb-2023
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मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान हमेशा चर्चाओं में बने रहते हैं। समय-समय पर वह तरह तरह की घोषणाएं भी करते हैं। उनकी प्रशासनिक कार्यक्षमता, मिलनसारिता, संगठन क्षमता को देखते हुए एक बार पूर्व उप प्रधानमंत्री लालकृष्ण आडवाणी ने उन्हें नरेंद्र मोदी के स्थान पर प्रधानमंत्री पद का उम्मीदवार बताया था। निश्चित रूप से शिवराज सिंह चौहान एक दूरदृष्टि वाले राजनेता हैं। हाल ही में केंद्र सरकार का वर्ष 2023 24 का बजट प्रस्तुत हुआ। बजट पर मीडिया से चर्चा करते हुए उन्होंने कहा कि यह ईज आफ लिविंग को बढ़ावा देने वाला बजट है। इस बजट में 100 साल बाद का भारत कैसा होगा उस तथ्य को ध्यान रखते हुए केंद्रीय बजट प्रस्तुत किया गया है। शिवराज सिंह चौहान ने बजट को 7 सप्त ऋषि की प्राथमिकताओं से जोड़कर समावेशी विकास, लास्ट मील डिलीवरी, बुनियादी ढांचा, निवेश क्षमता हरित विकास, युवा एवं वित्तीय स्थिति को मजबूत करने वाला बजट बताया। निश्चित रूप से उन्हें केंद्रीय बजट की तारीफ करनी थी, उन्होंने तारीफ की भी है। बजट को 100 वर्ष बाद की परिकल्पना से जोड़कर केंद्रीय बजट की तारीफ करने वालों में सबसे शीर्ष पर पहुंच गए हैं। निश्चित रूप से उनकी प्रतिक्रिया प्रधानमंत्री तक पहुंच गई होगी। शिवराज सिंह चौहान द्वारा 100 वर्ष की जो परिकल्पना की गई है। उसको लेकर कहा जा रहा है कि पल भर की तो खबर है, नहीं। 100 साल बाद क्या होगा, इसकी कल्पना कोई साधारण व्यक्ति नहीं कर सकता है। निश्चित रूप से वह असाधारण ही होगा। 2013 के बाद से भाजपा बड़े-बड़े दावे करती हैं। तरह-तरह के सपने बुनती है। बड़े आत्मविश्वास के साथ उन्हें पूरा करने की बात करती है। अब तो जनता के बीच में यह भी कहा जाने लगा है,कि भाजपा के नेता या तो गड़े मुर्दे उखाड़ते हैं। जिसका कोई जवाब ना दे सके। ऐसे सपने दिखाते हैं, जो कभी पूरे ना हो सकें। किन्तु जनता उन सपनों के झूले में झूलना शुरू कर दें। मध्य प्रदेश में लगभग 15 साल मुख्यमंत्री के रूप में शासन कर चुके, शिवराज सिंह चौहान ने भी कई बड़े-बड़े वादे और सब्जबाग दिखाए है। लोग बहुत जल्दी भूल जाते हैं। अब तो बजट जैसी घोषणाओं में 100 वर्ष की बात शिवराज सिंह ने की है। उसके बारे में यही कहा जा सकता है, मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान मे जो दूरदर्शिता है। वह प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण के पास भी नहीं है। नहीं तो बजट में जिस तरीके की घोषणाएं की गई हैं। वह बजट में शामिल होंती। शिवराज सिंह के विरोधी भी यह कह रहे हैं पल भर की तो खबर होती नहीं है 100 वर्ष बाद कौन याद रखेगा। राजनेता अपने बयान से जो निशाना साधते है उनकी समझ बहुत बाद में होती है। शिवराज सिंह का 100 साल बाद का भारत प्रधानमंत्री मोदी के बजट पर हमला है या उसकी तारीफ की गई है। इसका पता तो समय आने पर ही लगेगा। ईएमएस / 04 फरवरी 23