जयपुर (ईएमएस)। राजस्थान के पूर्व मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने प्रदेश में व्याप्त बिजली और पानी की गंभीर समस्या को लेकर एक बार फिर भजन लाल सरकार पर तीखा सियासी हमला बोला है। उन्होंने राज्य सरकार पर जनता की मूलभूत आवश्यकताओं की अनदेखी करने और केवल अपनी उपलब्धियों का बखान करने का आरोप लगाया है। गहलोत ने अपने बयान में कहा, कल मैंने प्रदेश की बिजली की समस्या उठाई थी, तो सरकार की ओर से प्रेस वार्ता कर उपलब्धियों का बखान किया गया, लेकिन जमीनी हकीकत यह है कि बिजली कटौती की समस्या जस की तस बनी हुई है। उनका इशारा उन सरकारी बयानों की ओर था, जिनमें सरकार बिजली आपूर्ति में सुधार का दावा कर रही है। पूर्व मुख्यमंत्री ने जोर देकर कहा कि बिजली के साथ-साथ, राजधानी जयपुर में भी पेयजल के लिए हाहाकार मचा हुआ है। उन्होंने विशेष रूप से मुख्यमंत्री के विधानसभा क्षेत्र सांगानेर का उल्लेख किया, जहां पानी की किल्लत से लोग बेहाल हैं और प्रदर्शन करने पर मजबूर हो रहे हैं। गहलोत ने कहा कि पूरे प्रदेश में यही स्थिति है, जहां भीषण गर्मी के इस दौर में लोग पानी की एक-एक बूंद के लिए तरस रहे हैं। सरकार को प्रेस वार्ता कर उपलब्धि गिनाने के बजाय बिजली-पानी जैसी मूलभूत आवश्यकताओं की पूर्ति पर ध्यान देना चाहिए, जिससे जनता को तत्काल राहत मिल सके। उन्होंने परोक्ष रूप से मौजूदा सरकार की प्राथमिकताओं पर सवाल उठाया, यह दर्शाते हुए कि जनता की बुनियादी जरूरतों को पूरा करना ही किसी भी सरकार की पहली जिम्मेदारी होनी चाहिए। गहलोत का यह बयान ऐसे समय में आया है जब राजस्थान के कई हिस्सों में तापमान 45 डिग्री सेल्सियस से ऊपर चल रहा है और बिजली कटौती तथा पेयजल संकट ने आम जनजीवन को बुरी तरह प्रभावित किया है। अशोक शर्मा/ 4 बजे/ 10 जून 2025