खेल
15-Jun-2025


कोलकाता (ईएमएस)। दिगगज फुटबॉलर और भारतीय टीम के पर्व कप्तान बाईचुंग भूटिया और अखिल भारतीय फुटबॉल महासंघ (एआईएफएफ) प्रमुख कल्याण चौबे में आजकल घमासान छिड़ा है। एएफसी एशियाई कप क्वालिफाइंग दौर के मैच में हांगकांग के हाथों भारतीय टीम की हार के बाद जहां भूटिया ने एआईएफए प्रमुख पर भारतीय फुटबॉल को बर्बाद करने का आरोप लगाते हुए कहा था कि वह अपना पद छोड़ दें। वहीं इसके बाद कल्याण ने भी पलटवार करते हुए भूटिया पर अपने स्वार्थ के लिए व्यावसायिक अकादमियां चलाने का आरोप लगाया है। जिन्हें भूटिया ने खारिज कर दिया है। कल्याण ने कहा कि वह अपने नाम से एक व्यावसायिक फुटबॉल स्कूल चलाते हैं। वह 20 अलग अलग शहरों में हैं। इस फुटबॉल स्कूल में खिलाड़ी 1000 से एक लाख रुपये तक का भुगतान करते हैं। उनसे एक हजार से 10000 रुपये तक महीना लिया जाता है। चौबे भूटिया फुटबॉल स्कूल का जिक्र कर रहे थे जिसकी देश भर में कई अकादमियां हैं। एआईएफएफ अध्यक्ष ने कहा कि ये पूरी तरह से निहित स्वार्थ है पूरी तरह से व्यावसायिक है। वे परिवारों की भावनाओं, लोगों की भावनाओं के साथ खेलकर लाभ उठा रहे हैं। लोग सोचते हैं कि उस व्यक्ति ने भारतीय फुटबॉल को उच्चतम स्तर पर पहुंच बनाई है और अगर मैं उनकी अकादमी का हिस्सा बन सकता हूं तो मैं भी एक अच्छा फुटबॉल खिलाड़ी बन जाउंगा जो सही नहीं है। वहीं भूटिया ने चौबे के आरोप को खारिज करते हुए कहा कि चौबे को इस बात की कोई जानकारी नहीं है कि अकादमी कैसे चलाई जाती है। उन्होंने कहा है कि उन्होंने अपने फुटबॉल स्कूल अपनी मेहनत की कमाई से खोले हैं। इसके लिए उन्होंने राज्यों, केंद्र और कॉरपोरेट्स से कोई पैसा नहीं लिया है। साथ ही उन्होंने कहा कि, पिछले दो सालों में बच्चों की मदद के लिए केवल कुछ ही प्रायोजक आए हैं। देश भर में मेरे स्कूलों में हर दिन 6000 से ज्यादा बच्चे खेलते हैं।फीस को लेकर जो आंकड़ा कल्याण ने बताया है वह सही नहीं है। फीस उतनी ही ली जाती है जिससे कि कोच का वेतन और मैदान का शुल्क दिया जा सके । गिरजा/ईएमएस 15जून 2025