10-Aug-2025
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पटना(ईएमएस)। बिहार विधानसभा चुनाव से पहले वोटर लिस्ट को लेकर सियासी घमासान मचा हुआ है। पहले नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव पर दो मतदाता पहचान पत्र रखने का आरोप लगा है। इसको लेकर चुनाव आयोग ने उनसे स्पष्टीकरण मांगा है। वहीं, अब बिहार के डिप्टी सीएम विजय कुमार सिन्हा भी ऐसे मामले में फंसते नजर आ रहे हैं। कांग्रेस ने बिहार के उपमुख्यमंत्री विजय सिन्हा पर दोहरे मतदाता होने का सनसनीखेज आरोप लगाया। दरअसल, चुनावी नियमों के अनुसार, एक व्यक्ति का नाम केवल एक मतदाता सूची में हो सकता है। दो जगह मतदाता होना जनप्रतिनिधित्व अधिनियम, 1951 की धारा 17 और 18 का उल्लंघन है। कांग्रेस ने सवाल उठाया कि सिन्हा का नाम दो जगह कैसे दर्ज हुआ? क्या उन्होंने दोनों जगह मतदान किया? चुनाव आयोग की ओर से ऐसी चूक कैसे हुई? बता दें कि सिन्हा पर आरोप है कि उन्होंने जानबूझकर नियमों की अनदेखी की और आयोग ने इसे नजरअंदाज किया। ये भी दावा किया जा रहा है कि सिन्हा लखीसराय और बांकीपुर में पंजीकृत हैं और दोनों जगह सर फॉर्म भरा, कांग्रेस ने इसे भाजपा-चुनाव आयोग की साजिश बताते हुए एफआईआर और इस्तीफे की मांग की है। कांग्रेस का दावा है कि सिन्हा लखीसराय और पटना के बांकीपुर में मतदाता के रूप में पंजीकृत हैं। कांग्रेस का कहना है कि सिन्हा ने दोनों जगह सर फॉर्म भरा और उनका नाम दोनों जगह मतदाता सूची के ड्राफ्ट में शामिल है। बिहार कांग्रेस का दावा है कि मतदाता सूची में विजय सिन्हा का लखीसराय और पटना के बांकीपुर विधानसभा के नाम से इपिक नंबर दर्ज है। कांग्रेस का आरोप है कि डिप्टी सिन्हा ने लखीसराय और बांकीपुर विधानसभा से फॉर्म भरा है जिसके बाद दोनों जगह ड्राफ्ट में उनका नाम भी आ गया है। विजय सिन्हा का नाम दो अलग-अलग विधानसभा के मतदाता सूची में दर्ज होने के दावों के साथ बिहार में सियासी पारा एक बार फिर गर्म हो गया है। कांग्रेस नेताओं ने इसे ‘चुनावी प्रक्रिया की विश्वसनीयता पर खतरा’ बताते हुए आयोग से कार्रवाई की मांग की है। कांग्रेस ने चुनाव आयोग पर भाजपा के साथ मिलीभगत का आरोप लगाया है। पार्टी का दावा है किनिर्वाचन आयोग ने सिन्हा के दोहरे पंजीकरण को न केवल अनदेखा किया, बल्कि उनके फॉर्म को भी स्वीकार किया। हाल ही में आयोग ने बिहार में 65 लाख मतदाताओं को सूची से हटाया जिनमें डुप्लिकेट नाम शामिल थे। फिर सिन्हा का मामला कैसे छूट गया? कांग्रेस ने पूछा, क्या नियम सिर्फ आम लोगों के लिए हैं, और भाजपा नेताओं को छूट दी जा रही है?यह मामला बिहार में सत्तारूढ़ एनडीए गठबंधन के लिए मुश्किलें खड़ी कर सकता है। कांग्रेस ने सिन्हा के खिलाफ एफआइआर और उनके इस्तीफे की मांग की है। पार्टी का कहना है कि यह दोहरा पंजीकरण न केवल व्यक्तिगत फ्रॉड है, बल्कि पूरे देश में भाजपा की ओर से मतदाता सूची में हेरफेर का हिस्सा है। कांग्रेस ने दावा किया कि कुछ जगहों पर एक पत्ते पर 80 वोट और एक व्यक्ति द्वारा चार बार मतदान जैसे मामले सामने आए हैं। हालांकि, विजय सिन्हा ने अभी तक इन आरोपों पर कोई आधिकारिक बयान नहीं दिया है। जानकारों का मानना है कि यह मामला चुनाव आयोग की विश्वसनीयता पर सवाल उठा रहा है। अगर विजय सिन्हा का नाम वाकई दो जगह दर्ज है तो यह तकनीकी खामी या जानबूझकर की गई गड़बड़ी हो सकती है। आयोग से इसकी जांच और कड़ी कार्रवाई की मांग हो रही है। वीरेंद्र/ईएमएस/10अगस्त2025 ------------------------------------