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03-Oct-2025
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मुंबई,(ईएमएस)। राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ के 100 वर्ष पूर्ण होने पर नागपुर में संघ का कार्यक्रम आयोजित किया गया था। समारोह में सीजेआई की मां कमलताई के शामिल नहीं होने को लेकर अब सियासत शुरु हो गई है। अब शिवसेना (उद्धव बालासाहब ठाकरे) ने संघ का न्योता अस्वीकार करने को लेकर सीजेआई की मां की तारीफ की है। साथ ही भारत के पूर्व मुख्य न्यायाधीश डीवाई चंद्रचूड़ से तुलना भी कर डाली। गवई परिवार ने पहले कहा था कि न्योता स्वीकार कर लिया गया है। राज्यसभा सांसद संजय राउत ने कहा कि कमलताई गवई आंबेडकरवादी हैं और वह संघ के झांसे में नहीं आईं। उन्होंने कहा, संघ के झांसे में नहीं फंसने के लिए मैं कमलताई गवई और उनके परिवार को शुभकामनाएं देता हूं। उन्होंने पूर्व सीजेआई चंद्रचूड़ की तरह व्यवहार नहीं किया। खास बात है कि राउत ने पूर्व सीजेआई के घर पर गणेश पूजा में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के शामिल होने पर सवाल उठाए थे। इस दौरान उन्होंने संघ की भी जमकर आलोचना की। राउत ने कहा, संघ के सांस्कृतिक संगठन है। उनके हिन्दुत्व विचार हैं। हमें इस बात में कोई संदेह नहीं है। एक समय में हमें उनसे हमदर्दी थी। जब भी देश में परेशानी होती है, तो वो शासकों के खिलाफ खड़े नहीं होते। आज डॉक्टर बाबासाहेब आंबेडकर और महात्मा गांधी के नाम संघ से जोड़ने की कोशिश की जा रही है, लेकिन गांधी या डॉक्टर आंबेडकर ने कभी संघ का साथ नहीं दिया। उन्होंने कहा, आज देश की ताकत आरएसएस के हाथों में है। उन्होंने प्रधानमंत्री और कुछ राज्यपाल नियुक्त किए हैं। ऐसे में उनके आंदोलन में सत्ता की चमक है। आरएसएस की शताब्दी वर्ष समारोह में पोस्टल स्टाम्प और सिक्की जारी किया गया, लेकिन स्वतंत्रता संग्राम संघर्ष में आरएसएस का योगदान क्या है। उन्हें एक बार बताना चाहिए। वीरेंद्र/ईएमएस/03अक्टूबर2025 ------------------------------------