मंदिरो में दिनभर चला पूजन अर्चन का दौर, भंडारो में श्रद्धालुओं ने ग्रहण की प्रसादी अशोकनगर (ईएमएस)। रविवार को गुरु पूर्णिमा महोत्सव जिलेभर के मंदिरों और आश्रमों में बड़ी ही श्रद्धा और आस्था के साथ मनाया गया। मंदिरों में सुबह से ही भक्तों की भारी भीड़ जुटना शुरु हो गई जो देर शाम तक चलती रही। मंदिरों और आश्रमों में गुरु पूजन और भंडारे के विशेष आयोजन हुए। अषाढ़ मास की पूर्णिमा को मनाया जाने वाला गुरु पूर्णिमा पर्व धार्मिक उत्साह के साथ मनाया गया। सनातन धर्म में मान्यता है कि गुरु के बिना दान और ज्ञान अधूरा रहता है और लोग इसलिए जीवन में गुरु बनाकर उन्ही के मार्गदर्शन में चलते हैं। गुरु पूर्णिमा पर्व के अवसर पर जगह-जगह लोगों ने गुरु पूजन किया। शिष्यों ने अपने-अपने गुरुओं के आश्रम पर पहुंचकर उनका तिलक लगाकर पूजन किया और जीवन भर उनका मार्गदर्शन मिलता रहे इसका आशीर्वाद लिया। सुबह से ही मंदिरों और आश्रमों में श्रद्धालुओं ने पहुंचना शुरु कर दिया था। जिससे इन धार्मिक स्थलों पर काफी चहल-पहल दिखाई दी। शहर के मोहरी स्थित श्री ब्रह्मगौण मंदिर, त्रिदेव मंदिर, अष्टभुजी माता मंदिर, पंचमुखी हनुमान मंदिर, श्रीतारवाले बालाजी मंदिर, चिंताहरण हनुमान मंदिर, काली माता मंदिर, शनि मंदिर सहित कई धार्मिक स्थलों पर शिष्यों का गुरुओं के यहां पहुंचने का सिलसिला दिनभर चलता रहा। इस दौरान गुरु आश्रमों पर भण्डारों का आयोजन किया गया। जहां बड़ी तादात में पहुंचे श्रद्धालुओं ने गुरुओं का आशीर्वाद लेते हुए प्रसाद ग्रहण किया। गुरुवंदना का यह पर्व शिक्षा के मंदिरों में भी दिखाई दिया। छात्र जीवन में शिक्षक को ही पहला गुरु माना जाता है इस परंपरा को अपनाते हुए विद्यार्थियों ने शिक्षकों का आशीर्वाद लिया। शहर के अलावा जिले में स्थिति कई अन्य आश्रमों में भी दूरदराज से शिष्यों का आना-जाना लगा रहा। भंडारो का हुआ आयोजन: आमखेड़ा स्थित सिद्ध बाबा स्थान, पछाड़ीखेड़ा रोड पर स्थित श्री शनिदेव मंदिर, युगल किशोर सरकार मंदिर, तारवाले बालाजी मंदिर सहित शहर भर के मंदिरों पर गुरु पूर्णिमा के अवसर पर विशाल भंडारे आयोजित किया गया। दोपहर को शुरु हुआ आयोजन का दौर देर शाम तक जारी रहा। इस दौरान बड़ी संख्या में श्रद्धालुओ ने प्रसादी ग्रहण की और आर्शीवाद ग्रहण किया। आज से शुरू होगा सावन माह भगवान शिव की आराधना का पवित्र सावन मास आज से शुरू हो रहा है। सावन मास का समापन रक्षा बंधन पर्व के साथ होगा। सावन के महीने को भगवान शिव की आराधना का माह माना जाता है। इस माह में शिव पूजन का विशेष महत्व है। श्रद्धालु भगवान को प्रसन्न करने के लिए सोमवार का वृत रखते हैं। इस दौरान मंदिरों में शिव अभिषेक सहित कई धार्मिक अनुष्ठान आयोजित किए जाते हैं। हर वर्ष शहर में सावन महीने में निकलने वाली भगवान शिव की कावड यात्रा इस वर्ष भी निकाली जाएगी। ईएमएस / 21 जुलाई 2024