नई दिल्ली(ईएमएस)। पंजाब नेशनल बैंक को 13500 करोड़ रुपये का चूना लगाने के आरोपी मेहुल चौकसी को गिरफ्तार कर लिया गया है। भारत से भागे मेहुल चैकसी की गिरफ्तारी बेल्जियम से हुई है। हालांकि, उसे भारत लाने की प्रक्रिया शुरू हो चुकी है। लेकिन जानकारों का कहना है कि चोकसी बेल्जियम की अदालत में कानूनी दांव-पेंच आजमाने की कोशिश करेगा और उसके वकील जमानत के लिए प्रयासरत हैं। इससे प्रत्यर्पण में कुछ देरी जरूर हो सकती है। चोकसी के भतीजे नीरव मोदी के खिलाफ भी लंदन में प्रत्यर्पण की कार्यवाही चल रही है। अगर चोकसी को भारत लाया जाता है, तो यह प्रवर्तन एजेंसियों की बड़ी सफलता मानी जाएगी और घोटाले की जांच को नया मोड़ मिल सकता है। अब सबकी निगाहें बेल्जियम की अदालतों और भारत की कूटनीतिक चालों पर टिकी हैं। क्या चोकसी आखिरकार न्याय के कटघरे में खड़ा होगा? जानकारी के सीबीआई और ईडी की अपिल पर बेल्जियम पुलिस ने चौकसी को गिरफ्तार किया है। हीरा कारोबारी चोकसी गीतांजलि ग्रुप का मालिक है। वह 2011 से ही पीएनबी को लोन के नाम पर धोखा दे रहा था। हालांकि इस घोटाले का खुलासा 2018 में हुआ था, जिसके बाद वह देश छोड़कर भाग गया था। देश से भागने के बाद वह वर्षों तक गिरफ्तारी से बचता फिर रहा था। हालांकि आखिरकार वह खुद ही उस देश में पहुंच गया, जहां से उसे भारत लाना काफी आसान माना जा रहा है। बेल्जियम की एक अस्पताल से गिरफ्तारी के बाद अब चोकसी भारतीय एजेंसियों की पकड़ में आ सकता है। भारत से भागने के बाद चोकसी सीधा कैरेबियाई देश एंटीगुआ और बारबुडा पहुंच गया था। खबरों के मुताबिक, उसने वहां की नागरिकता भी ले रखी थी। इसके बाद वह वहां से डोमिनिका रिपब्लिक भी गया था। हालांकि वहां उसे अवैध रूप से घुसने के आरोप में गिरफ्तार किया गया था। हालांकि इन देशों से भारत कोई प्रत्यर्पण समझौता नहीं था। ऐसे में चोकसी भारत के चुंगल से एक बार फिर बच निकला। हालांकि इस बार चोकसी जिस देश में है, उससे भारत का 1901 से प्रत्यर्पण समझौता है। यह संधि अंग्रेजों के समय से चली आ रही है, जो भारत को कानूनी आधार देती है कि वह चोकसी को वापसी के लिए औपचारिक मांग कर सके। बेल्जियम में फैला रखा था कारोबार सीबीआई सूत्रों का कहना है कि मेहुल चोकसी की रत्न और आभूषण की कंपनियां पिछले कई सालों से बेल्जियम में कारोबार कर रही थीं। इस देश में हीरा उद्योग बहुत बड़ा और प्रभावशाली है, और चोकसी ने वहां व्यापक नेटवर्क बना रखा था। बताया जा रहा है कि बेल्जियम की नागरिक पत्नी की मदद से उसने वहां की ‘एफ रेजीडेंसी कार्ड’ भी हासिल कर ली थी। वीरेंद्र/ईएमएस 15 अप्रैल 2025