नई दिल्ली (ईएमएस)। कॉरपोरेट मामलों के मंत्रालय ने कंपनी कानून के कथित उल्लंघन के संबंध में मंगलवार को जेनसोल इंजीनियरिंग और ब्लूस्मार्ट मोबिलिटी के मामलों की जांच का आदेश दिया है। जेनसोल इंजीनियरिंग में धन की हेराफेरी और कामकाज संबंधी खामियों के लिए नियामक जांच के दायरे में है। भारतीय प्रतिभूति एवं विनिमय बोर्ड (सेबी) ने अप्रैल में एक आदेश पारित कर कंपनी के प्रवर्तकों को विभिन्न उल्लंघनों के लिए प्रतिभूति बाजार से प्रतिबंधित कर दिया था। अधिकारियों ने बताया कि मंत्रालय ने पिछले सप्ताह कंपनी अधिनियम 2013 की धारा 210 के तहत कंपनियों के खिलाफ जांच का आदेश दिया है। मंत्रालय को धारा 210 के तहत जनहित सहित विभिन्न आधारों पर किसी कंपनी के मामलों की जांच का आदेश देने का अधिकार है। इससे पहले मंत्रालय ने कहा था कि वह सेबी के आदेश की समीक्षा करने के बाद मामले में आवश्यक कार्रवाई करेगा। सेबी ने 15 अप्रैल को जेनसोल के प्रवर्तक के खिलाफ आदेश जारी किया था। इन प्रवर्तकों पर आरोप है कि उन्होंने अपनी सार्वजनिक रूप से सूचीबद्ध कंपनी जेनसोल इंजीनियरिंग से ऋण राशि को निजी उपयोग के लिए गबन किया है। सतीश मोरे/06मई ---