-पीएम मेलोनी कर रही विरोध, प्रस्ताव हुआ पास तो भारतीयों को होगा फायदा रोम (ईएमएस)। इटली में जनमत संग्रह शुरू हुआ है, जिसमें नागरिकता के नियमों को आसान बनाने और मज़दूरों के अधिकारों को मजबूत करने से जुड़े पांच प्रस्तावों पर जनता की राय ली जा रही है। बता दें इटली की मौजूद सरकार इन मुद्दों के खिलाफ है और लोगों से अपील कर रही है कि वह इस जनमत संग्रह में हिस्सा ना लें। आमतौर पर लोग विदेशों में जाकर बसना चाहते हैं। इसमें वहां के कानूनों का बड़ा रोल होता है। इटली में इस कानून को बदलने को लेकर जनमत संग्रह कराया जा रहा है। अगर ये पास होता है, तो इटली में बसने का लाखों भारतीयों का सपना पूरा हो जाएगा। इटली की पीएम जॉर्जिया मेलोनी की सरकार इन दोनों मुद्दों के खिलाफ है और लोगों से जनमत संग्रह में भागीदारी नहीं करने की अपील कर रही है। मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक वर्तमान में कोई भी गैर-यूरोपीय नागरिक, जो न तो इटली का रिश्तेदार है और न ही वहां शादी के ज़रिए जुड़ा है। अब तक उसे इटली की नागरिकता के लिए आवेदन करने से पहले देश में 10 साल रहना जरूरी होता है। इस जनमत संग्रह का प्रस्ताव इस अवधि को घटाकर पांच साल करना चाहता है, ताकि इटली, जर्मनी और फ्रांस जैसे देशों की तरह बन सके। इस बदलाव से इटली में रहने वाले करीब 25 लाख बाहरी लोगों को फायदा मिल सकता है। साल 2023 में 2.13 लाख से ज्यादा लोगों को इटली की नागरिकता मिली, जो 2020 की तुलना में दोगुना है और पूरे यूरोपीय संघ में हुई नागरिकताओं का पांचवां हिस्सा है। इनमें से 90 फीसदी लोग यूरोपीय संघ के बाहर से थे, जो खासकर अल्बानिया, मोरक्को, अर्जेंटीना और ब्राज़ील जैसे देशों से आए थे। इटली की पीएम मेलोनी की दक्षिणपंथी पार्टी ब्रदर्स ऑफ इटली अवैध आप्रवासन को रोकने को प्राथमिकता देती है। उन्होंने कहा कि मौजूदा नागरिकता कानून बेहद उदार और अच्छा है। इटली पहले से ही हर साल यूरोप में सबसे ज़्यादा लोगों को नागरिकता देता है, ऐसे में इसमें सुधार की कोई ज़रूरत नहीं है। मार्च 2025 में सरकार ने यह भी तय किया कि जो लोग अपने इतालवी वंश के आधार पर नागरिकता मांगते हैं, उनके लिए यह अधिकार अब सिर्फ दो पीढ़ियों तक सीमित रहेगा। इस प्रस्ताव पर वोटिंग चल रही है, लेकिन इन प्रस्तावों के पास होने की संभावना कम है। इसकी वजह है जनमत संग्रह को वैध माने जाने के लिए 50 फीसदी से ज्यादा मतदान जरूरी है और अभी तक मतदान कम हुआ है। ये मुद्दा इटली की राजनीति और प्रवासी नीति, दोनों के लिए ही अहम है। सिराज/ईएमएस 10 जून 2025