रियाद (ईएमएस)। पाकिस्तान के साथ रक्षा समझौता करने वाला सुन्नी मुस्लिम देश सऊदी अरब अब अमेरिका के साथ रक्षा समझौते को लेकर चर्चा कर रहा है। सऊदी अरब को उम्मीद है कि अगले महीने क्राउन प्रिंस मोहम्मद बिन सलमान की रियाद यात्रा के दौरान समझौते पर हस्ताक्षर हो सकता है। ट्रंप प्रशासन के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि अमेरिका और सऊदी अरब के बीच डील को लेकर बातचीत जारी है। अभी इस डील के बारे में ज्यादा विवरण सामने नहीं आया है। अमेरिका सऊदी अरब के साथ यह समझौता उस समय पर कर रहा है जब उसने इजरायल के हमले के बाद कतर के साथ एक रक्षा समझौता किया है। रिपोर्ट में कहा गया है कि सऊदी और अमेरिका के बीच रक्षा समझौते को लेकर बातचीत ठीक उसी तरह की है जैसे कतर के साथ है। इसमें कहा गया है कि कतर पर हुआ कोई भी हमला अमेरिका पर हमला माना जाएगा। इजरायल के हमास के नेताओं को कहीं भी मार गिराने की पिछले महीने दी गई धमकी और प्रयास के बाद अमेरिका ने यह समझौता किया था। अमेरिकी विदेश मंत्रालय ने कहा कि सऊदी अरब के साथ रक्षा सहयोग हमारी क्षेत्रीय रणनीति की आधारशिला है। उन्होंने डील के बारे में और ज्यादा जानकारी देने से मना किया। अमेरिका के विदेश मंत्रालय, वाइट हाउस और सऊदी सरकार ने अभी तक इस डील पर कुछ नहीं कहा है। पिछले महीने पाकिस्तान और सऊदी अरब के बीच एक आपसी रक्षा समझौता हुआ था। इसमें भी कहा गया था कि किसी एक देश पर हमला दूसरे देश पर हमला माना जाएगा। रियाद में समझौते पर पाकिस्तान के पीएम शहबाज शरीफ और सऊदी क्राउन प्रिंस सलमान ने हस्ताक्षर किया था। यह समझौता उस समय पर हो रहा है जब हाल ही में अरब सम्मेलन संपन्न हुआ है। इस सम्मेलन में सामूहिक सुरक्षा का संकेत दिया गया। इसके पीछे सबसे बड़ी वजह इजरायल का कतर पर मिसाइल हमला था। इजरायली हमले के बाद खाड़ी देश दहशत में हैं। वहीं यह समझौता भारत और पाकिस्तान तथा ईरान एवं इजरायल के बीच 12 दिनों तक चले युद्ध के बाद हो रहा है। इस बीच तालिबान और पाकिस्तान के बीच युद्ध के दौरान सऊदी ने दोनों से बातचीत की और सीजफायर कराने में मदद की। हालांकि सऊदी अरब पाकिस्तान के मारे जाने के बाद बचाने को आगे नहीं आया। इससे सऊदी अरब और पाकिस्तान के बीच हुए रक्षा समझौते की पोल खुल गई। विश्लेषकों का कहना है कि डील से पाकिस्तान को कम सऊदी को ज्यादा फायदा होगा। आशीष/ईएमएस 19 अक्टूबर 2025