राष्ट्रीय
21-Oct-2025


हाजीपुर (ईएमएस)। महागठबंधन में सीटों को लेकर रार ठनी हुई है। हालांकि लालगंज पर कांग्रेस लालपीली हो रही थी और जिसके चलते उम्मीदवार उतार दिया था अब कांग्रेस ने इस सीट का त्याग कर दिया है। प्रत्याशी आदित्य कुमार राजा ने अपना नाम वापस ले लिया है। जिससे गठबंधन के भीतर चल रहे विवाद को सुलझाने की दिशा में नई पहल मानी जा रही है। इसका अर्थ यह है कि महागठबंधन में सीट शेयरिंग विवाद के बीच लालगंज सीट पर सियासी स्थिति अब साफ हो गई है और अब यहां महागठबंधन से राजद और एनडीए से भाजपा के प्रत्याशियों के बीच मुकाबला होगा। माना जा रहा है कि कांग्रेस उम्मीदवार आदित्य कुमार राजा ने सोमवार को नामांकन वापस लेकर बड़ा संदेश दिया है। बता दें कि कांग्रेस और राजद के बीच सीट बंटवारे को लेकर विवाद था, जिस कारण लालगंज सीट पर दोनों दलों के प्रत्याशी आमने-सामने आ गए थे। लालगंज सीट को लेकर महागठबंधन में गतिरोध पिछले एक सप्ताह से जारी था। कांग्रेस ने यहां से आदित्य राजा को उम्मीदवार बनाया था, वहीं राजद ने बाहुबली मुन्ना शुक्ला की बेटी शिवानी शुक्ला को टिकट दे दिया था। दोनों दलों के प्रत्याशी एक ही गठबंधन से आमने-सामने आ गए थे, जिससे महागठबंधन की एकजुटता पर सवाल उठने लगे थे। नामांकन वापसी के बाद आदित्य राजा ने कहा कि वे राहुल गांधी के नेतृत्व और गठबंधन के सिद्धांतों पर भरोसा रखते हैं। उन्होंने इसे लोकतंत्र की धरती वैशाली से एकता की मिसाल बताते हुए कहा कि अगर उनके कदम से गठबंधन मजबूत होता है तो यह उनका सौभाग्य होगा। कांग्रेस प्रत्याशी के मैदान से हटने के बाद अब लालगंज में मुकाबला भाजपा के संजय सिंह और राजद की शिवानी शुक्ला के बीच सीधा हो गया है। यह सीट अब वैशाली जिले में सबसे दिलचस्प चुनावी केंद्र बन गई है, जहां बाहुबली परिवार और सत्तारूढ़ दल आमने-सामने हैं। यह देखना दिलचस्प होगा कि इस सीट पर मतदाताओं का रुख क्या रहता है और इसका परिणामों पर क्या प्रभाव पड़ता है।इसके साथ ही यह भी देखा जाना शेष है कि महागठबंधन के भीतर अन्य सीटों पर चल रहे विवादों का समाधान कैसे निकलता है और विपक्षी गठबंधन की एकजुटता कितनी मजबूत होती है।सीट शेयरिंग विवाद के बीच नाम वापसी से लालगंज सीट पर महागठबंधन को लेकर सियासी स्थिति अब साफ हो गई है। कांग्रेस उम्मीदवार आदित्य कुमार राजा ने सोमवार को नामांकन वापस लेकर बड़ा संदेश दिया है। राजा ने कहा, यह फैसला किसी दबाव या व्यक्तिगत स्वार्थ के लिए नहीं बल्कि बिहार की एकता और गठबंधन की गरिमा बनाए रखने के लिए लिया गया है। अब आदित्य राजा के नामांकन वापस लेने के बाद, लालगंज सीट पर मुकाबला भाजपा के संजय सिंह और राजद की शिवानी शुक्ला के बीच सीधा हो गया है। आदित्य राजा के इस कदम को महागठबंधन के लिए एक सकारात्मक संकेत के रूप में देखा जा रहा है जो गठबंधन धर्म और आपसी एकजुटता को बनाए रखने की दिशा में एक महत्वपूर्ण पहल है। वीरेंद्र/ईएमएस/21अक्टूबर2025