वॉशिंगटन(ईएमएस)। पूर्व कॉमर्स मंत्री जीना रायमोंडो ने हार्वर्ड केनेडी स्कूल के एक ऑनलाइन कार्यक्रम में कहा कि ट्रंप प्रशासन की भारत नीति और वैश्विक व्यापार संबंधों पर बड़ा बयान दिया है। उन्होंने कहा कि अमेरिका “भारत के साथ बड़ी गलती कर रहा है” और ट्रंप की पहले अमेरिकी की नीति को ‘अकेला अमेरिका’ में बदल देना एक “विनाशकारी गलती” साबित हो रही है।रायमोंडो ने साफ शब्दों में कहा कि ट्रंप सरकार की नीति ने अमेरिका के सभी सहयोगियों को नाराज कर दिया है। उन्होंने कहा, अमेरिका फर्स्ट एक बात है, लेकिन अकेला अमेरिका यह खतरनाक सोच है। उन्होंने ट्रंप प्रशासन की उन नीतियों की आलोचना की, जिनसे अमेरिका के साझेदार देशों के साथ संबंधों में तनाव आया। उन्होंने कहा, मेरे विचार में इस प्रशासन की सबसे बड़ी गलती है। हमारे सभी सहयोगियों को नाराज करना। हमें यूरोप, जापान और दक्षिणपूर्व एशिया के साथ मजबूत व्यावसायिक साझेदारी बनानी चाहिए। रायमोंडो ने नीदरलैंड की सेमीकंडक्टर कंपनी का उदाहरण देते हुए कहा कि अमेरिका को यूरोपीय देशों के साथ और गहरे व्यापारिक रिश्ते बनाने की जरूरत है। रायमोंडो ने विशेष रूप से भारत का जिक्र करते हुए कहा कि अमेरिका को भारत के साथ अपने संबंधों पर गंभीरता से पुनर्विचार करना चाहिए। उन्होंने कहा, मुझे लगता है कि हम भारत के साथ बड़ी गलती कर रहे हैं… भारत एक ऐसा साझेदार है जो भविष्य की अर्थव्यवस्था और वैश्विक स्थिरता दोनों के लिए अहम है।रायमोंडो की टिप्पणी ऐसे समय में आई है जब ट्रंप प्रशासन ने भारतीय वस्तुओं पर टैरिफ को 50प्रतिशत तक दोगुना कर दिया है, साथ ही रूस से भारत की कच्चे तेल की खरीद पर भी अतिरिक्त ड्यूटी और दबाव बनाए रखा है। भारत ने इन नीतियों को “अनुचित और एकतरफा” बताया है।पिछले हफ्ते ट्रंप ने दावा किया था कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने फोन पर उनसे बात कर रूस से तेल आयात कम करने पर सहमति जताई है। हालांकि भारत के विदेश मंत्रालय ने इस दावे को सिरे से खारिज कर दिया था। वीरेंद्र/ईएमएस/28अक्टूबर2025