हमले से पहले आतंकियों ने आईएसआई से किया था कॉन्टैक्ट... लश्कर-ए-तैयबा पाकिस्तान के इशारों पर कर रहा था काम पाकिस्तान ने ही कराई टारगेट कीलिंग -सुरक्षा एजेंसियां हमले में शामिल आतंकियों को जिंदा पकडऩे की कोशिश कर रही -पाकिस्तान आतंकियों को सुरक्षित कश्मीर से निकालना चाहता है श्रीनगर (ईएमएस)। पहलगाम नरसंहार के षड्यंत्र और इसमें पाकिस्तान की भूमिका को पूरी तरह उजागर करने के लिए सुरक्षा व जांच एजेंसियां हमले में लिप्त आतंकियों को यथासंभव जिंदा पकडऩे पर जोर दे रही हैं। इस बीच, एनआईए ने अभी तक मिले सबूतों और नरसंहार के प्रत्यक्षदर्शियों के दर्ज बयानों व संदिग्ध एवं पकड़े गए ओवरग्राउंड वर्करों से पूछताछ में मिली जानकारी का आकलन शुरू कर दिया है। अभी तक जुटाई गई जानकारी के आधार पर कहा जा रहा है कि नरसंहार से पहले और बाद में आतंकियों ने पाकिस्तान में बैठे अपने हैंडलरों के साथ संपर्क किया है। आतंकियों द्वारा इस्तेमाल किए गए सैटेलाइट फोन का ब्यौरा जुटाने के लिए विदेशी विशेषज्ञों की भी मदद ली जा रही है। सुरक्षा एजेंसियों का मानना है कि यह हमला लश्कर-ए-तैयबा ने पाकिस्तानी खुफिया एजेंसी आईएसआई के इशारे पर ही किया है। आतंकी कश्मीर में ही छिपे पहलगाम हमले को अंजाम देने वाले आतंकियों के अभी कश्मीर में ही छिपे होने की संभावना है। इंटेलिजेंस सूत्रों ने शुक्रवार को बताया कि आतंकी अभी भी दक्षिण कश्मीर के जंगलों में छिपे हैं। उनके पास राशन-पानी है, ऐसे में ये इन पहाड़ी इलाकों में लंबे समय तक रह सकते हैं। इस बीच, अमेरिका की विदेश मंत्रालय की प्रवक्ता टैमी ब्रूस ने शुक्रवार को कहा कि अमेरिका आतंकवाद के खिलाफ भारत के साथ खड़ा है। राष्ट्रपति ट्रंप ने भी प्रधानमंत्री मोदी को पूरा समर्थन देने की बात कही है। गौरतलब है कि भारत-पाक सीमा के फॉरवर्ड पोस्ट्स पर पाकिस्तान ने सेना तैनात कर दी हैं। इसमें चीन से मिली तोपें भी शामिल हैं। प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ ने अमेरिका से अपील की है कि वह भारत पर जिम्मेदारी से पेश आने और बयानबाजी कम करने का दबाव बनाए। अमेरिकी विदेश मंत्री मार्को रुबियो से शरीफ ने यह भी कहा कि भारत के उकसाने वाले रवैया से क्षेत्रीय हालात बिगड़ सकते हैं। बिलावल ने आतंकियों से साठगांठ कबूली जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकी हमले के बाद पाकिस्तान की बौखलाहट जगजाहिर हो गई है। आए दिन उसके नेता कोई न कोई बड़बोलापन दिखा रहे हैं। पहले उनके रक्षा मंत्री और अब उनके पूर्व विदेश मंत्री ने पाकिस्तान के आतंक का पनाहगार होने की बात कबूल ली है। पहलगाम हमले में आतंकियों ने 26 लोगों की निर्मत हत्या कर दी थी। पाकिस्तान की ओर से पोषित आतंकी समूह लश्कर-ए-तैयबा ने इस हमले की साजिश रची थी। इस बीच पाकिस्तान के पूर्व विदेश मंत्री बिलावल भुट्टो ने खुद कबूल कर लिया है कि उनके मुल्क के आतंकी समूहों के साथ संबंध रहे हैं। उन्होंने कहा कि पाकिस्तान का अतीत रहा है। यह किसी से छिपा नहीं है कि पाकिस्तान के दहशर्तगर्दों के साथ संबंध रहे हैं। यह कबूलनामा उनके रक्षा मंत्री ख्वाजा आसिफ की आतंकवादी समूहों को समर्थन और वित्त पोषण में पाकिस्तान की संलिप्तता को स्वीकार करने के बाद सामने आया है। बिलावल ने आतंकवाद के साथ पाकिस्तान के इतिहास को स्वीकार करते हुए दावा किया कि इसका देश को नुकसान उठाना पड़ा है।