03-Jun-2025
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करांची,(ईएमएस)। पाकिस्तान में इन दिनों भीषण जल संकट है। पाकिस्तान में फसल की बुवाई का सीजन है। बीते दिनों भारत द्वारा सिंधु जल समझौते को स्थगित करने के बाद स्थिति और खराब हो गई है और पाकिस्तान में पानी के लिए हाहाकार मच गया है। देश के कई बड़े डैम सूखने की कगार पर हैं। बता दें पहलगाम में हुए आतंकी हमले के बाद भारत ने सिंधु जल समझौते को तत्काल प्रभाव से स्थगित कर दिया था। पीएम मोदी ने भी कहा था कि खून और पानी साथ-साथ नहीं बह सकते। विशेषज्ञों की माने तो खरीफ फसलों की बुआई के सीजन में पानी की किल्लत पाक की मुश्किलें बढ़ा रही हैं। देश के दो प्रमुख बांधों, झेलम नदी पर स्थित मंगला और सिंधु नदी पर स्थित तरबेला बांध में जल स्तर में बड़ी गिरावट आई है। इसके अलावा चेनाब नदी के जल प्रवाह पर भारत द्वारा की गई कटौती की वजह से भी मुश्किलें बढ़ी हैं। एक रिपोर्ट में पाकिस्तान के सिंधु नदी प्रणाली प्राधिकरण के हवाले से बताया गया है कि मंगला और तरबेला डैम का पानी पाकिस्तान के पंजाब और सिंध प्रांतों में सिंचाई के लिए और बिजली उत्पादन के लिए बेहद अहम है। हालांकि इनके स्टोरेज में करीब 50 फीसदी की कमी हो गई है। मंगला बांध में जलस्तर फिलहाल 50 फीसदी से भी कम है। आईआरएसए ने चिंता जताते हुए कहा है कि ऐसे में पाकिस्तान को सोच समझ कर पानी खर्च करने की जरूरत है। स्थिति इतनी गंभीर है कि पाकिस्तान के पीएम शहबाज अंतर्राष्ट्रीय मंचों पर पानी का मुद्दा उठा रहे हैं। सिराज/ईएमएस 03 जून 2025