भोपाल (ईएमएस)। केंद्रीय कृषि मंत्री शिवराज सिंह चौहान ने शनिवार को कहा कि जीएसटी सुधारों से कृषि उत्पादन की लागत कम होगी और उत्पादन भी बढ़ेगा। चौहान ने कहा कि इससे किसानों को सीधा लाभ होने वाला है। चौहान ने यह भी कहा कि अगले सीजन में बासमती चावल और अन्य प्रीमियम गैर-बासमती चावल किस्मों की मांग बढ़ने की उम्मीद है। केंद्रीय कृषि मंत्री शिवराज सिंह चौहान शनिवार को भोपाल में थे। उन्होंने नेक्स्ट जनरेशन जीएसटी रिफॉर्म पर मीडिया से कहा कि यह सुधार किसानों के लिए बड़ी राहत लेकर आए हैं। चौहान ने कहा कि नए प्रावधानों में कई तरह की छूट दी गई हैं, जो किसानों और लखपति दीदियों के लिए वरदान सिद्ध होंगी। कृषि यंत्र सस्ते होंगे, उत्पादन की लागत घटेगी और खेती-किसानी का काम आसान बनेगा। चौहान ने कहा कि जीएसटी परिषद ने हानिकारक वस्तुओं को छोड़ सभी उत्पादों को 5 और 18 फीसदी की दर पर लाने की हरी झंडी दे दी है। कई जरूरी चीजों पर टैक्स शून्य करने का भी फैसला लिया गया है। यह बदलाव देश में 22 सितंबर से नवरात्रि के पहले दिन से देखने को मिलेंगे। चौहान ने कहा कि अगर हम जीएसटी सुधारों को देखें तो एक उदाहरण के तौर पर कोई टैक्टर 9 लाख रुपए में खरीदते थे, तो अब किसान को 65 हजार रुपए की बचत होगी। किसान को कम देना पड़ेगा। यदि ट्रैक्टर 35 एचपी का है, जिसकी कीमत 5 लाख 80 हजार होती थी, तो उसे 41 हजार रुपए की बजत होगी। 45 एचपी के ट्रैक्टर पर 45 हजार की बचत होगी। 50 एचपी के ट्रैक्टर पर 53 हजार रुपए की बचत होगी और 75 एचपी के ट्रैक्टर पर 63 हजार की बचत होगी। सिर्फ ट्रैक्टर पर बचत देखें तो नए जीएसटी रिफार्म से 25 हजार से 63 हजार तक की बचत किसानों को होगी। शिवराज सिंह चौहान ने कहा कि जैव-कीटनाशक और सूक्ष्म पोषक तत्वों पर जीएसटी घटाई गई है, जिससे किसानों को लाभ होगा। साथ ही रासायनिक उर्वरकों से जैव उर्वरकों की तरफ किसानों की प्रवृत्ति निश्चित रूप से बढ़ेगी। कृषि मंत्री चौहान ने कहा कि जीएसटी सुधारों से डेयरी क्षेत्र में फायदा होगा। दूध और पनीर पर कोई जीएसटी नहीं होगा। इससे आम आदमी को लाभ होगा, मांग बढ़ेगी, दूध खरीदकर डेयरी उत्पाद, पशुपालकों को फायदा होगा। इससे स्वदेशी उत्पाद ज्यादा बिकेंगे। दूध के डिब्बों पर भी जीएसटी घटाई गई है। सुबोध/०६-०९-२०२५