राज्य
08-Sep-2025
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वाराणसी (ईएमएस) । सब्जी अनुसन्धान संस्थान, वाराणसी द्वारा सब्जी उत्पादक किसानों को खाद, बीज के अलावा विभिन्न प्रकार के तकनीकी सहयोग भी प्रदान किये जा रहें हैं। इसी कड़ी में संस्थान द्वारा पनियरा गाँव में फसलों पर ड्रोन तकनीक के माध्यम से कीटनाशक एवं पोषक तत्वों का छिड़काव किया गया। संस्थान की यह पहल गाँव स्तर पर आधुनिक कृषि तकनीकों के प्रचार-प्रसार की दिशा में एक महत्त्वपूर्ण कदम मानी जा रही है। इस अवसर पर प्रधान वैज्ञानिक एवं विभागाध्यक्ष, फसल उत्पादन विभाग डॉ. अनंत बहादुर ने बताया कि पारंपरिक तरीके से जहाँ एक एकड़ खेत में छिड़काव करने में कई घंटे लग जाते हैं, वहीं ड्रोन के माध्यम से यह कार्य कुछ ही मिनटों में पूरा हो जाता है। इससे न केवल समय और श्रम की बचत होती है, बल्कि दवाओं का समान एवं सटीक वितरण भी सुनिश्चित होता है।परिणामस्वरूप फसलों पर रोग एवं कीट नियंत्रण अधिक प्रभावी ढंग से संभव हो पाता है तथा उत्पादकता और गुणवत्ता दोनों में सुधार होता है। उन्होंने कहा कि ड्रोन तकनीक खेती में क्रांतिकारी बदलाव ला सकती है, जो किसानों की लागत घटाने और श्रम समस्या के समाधान में सहायक है। प्रधान वैज्ञानिक डॉ. गोविन्द पाल ने अपने विचार साझा करते हुए कहा कि ड्रोन से निकलने वाली दवाओं की सूक्ष्म बूँदें अत्यंत बारीकी से पूरे खेत में फैल जाती हैं। इससे फसल पर रोग और कीटों का असर शीघ्र नियंत्रित किया जा सकता है। उन्होंने इसे खेती के भविष्य के लिए अत्यंत आवश्यक और उपयोगी तकनीक बताया। डॉ नरसिंह राम/ईएमएस/08सितंबर2025