राज्य
30-Oct-2025
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* महागठबंधन की जीत बिहार के विकास की गारंटी होगी * भाजपा-जदयू को हराइए, पलायन और गुंडा राज से मुक्ति पाइए पटना, (ईएमएस)। हिमाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुखू ने बिहार की राजधानी पटना में आयोजित पत्रकार वार्ता में कहा कि बिहार में चुनाव होने जा रहे हैं और 20 साल से सरकार यहां विपक्ष की है। नीतीश कुमार जी की सरकार है। उन्होंने कहा कि हम हर साल बिहार एयरपोर्ट से लौट रहे थे। 20 साल से जो लोग सत्ता में होते हैं उसमें कुछ ना कुछ व्यवस्था परिवर्तन नजर आता है। पहले भी हम बिहार आए। नीतीश सरकार को आड़े हाथों लेते हुए उन्होंने कहा कि अभी मैं आपकी फोर लेन सड़क का हाल देख रहा था। वो फोर लेन ना होकर टू लेन है। भारतीय जनता पार्टी के साथ उनका गठबंधन है। हिमाचल प्रदेश में भारतीय जनता पार्टी मुख्य विपक्षी पार्टी के रूप में है। मैं इतना कहना चाहता हूं जहां 64 प्रतिशत लोग मात्र 7 रूपये पर जीते हैं वह बिहार की कहानी अपने आप बयाँ कर रही है। पत्रकारों को संबोधित करते हुए मुख्यमंत्री सुखू ने कहा कि बदलाव की जरूरत है और बदलाव हमेशा अच्छे के लिए होता है। हिमाचल प्रदेश के संदर्भ में जहां बात की जा रही है, मैं हिमाचल प्रदेश के संदर्भ में यह कहना चाहता हूं कि हिमाचल प्रदेश देश का पहला राज्य है, जहां सरकारी कर्मचारी और अधिकारी, जो भी विकास की गाथा लिखी है, हिमाचल प्रदेश की सरकार ने उन्हें ओल्ड पेंशन स्कीम दी है। भारतीय जनता पार्टी की सरकार जब पिछले वर्ष थी, उस समय जब ओल्ड पेंशन स्कीम नहीं मिलती थी और एनपीएस के तहत वह लोग थे तो मात्र 3000 रुपया उन्हें पेंशन मिलती थी। हमने पहली ही कैबिनेट में ओल्ड पेंशन स्कीम को लागू किया और जिस सरकारी कर्मचारी और अधिकारी को महज 3000 रूपये और 5000 रूपये मिलते थे वह बढ़ गए। अगर हमने यह राजनीतिक लाभ के लिए ही ओल्ड पेंशन स्कीम लागू करनी होती तो हमारे चुनाव तो 2027 में थे। तो हम 2027 में जैसे कि बिहार की सरकार ने 10,000 रूपये महिलाओं के बैंक खाते में चुनावों से पहले डाल दिया। हम उस समय भी ओल्ड पेंशन स्कीम लागू कर सकते थे। लेकिन कांग्रेस पार्टी की हमेशा से प्रतिबद्धता रही है। राहुल गांधी जी की एक सोच रही है कि जो कहा है उसे करना है। इस दृष्टिकोण से हमने ओल्ड पेंशन स्कीम सरकार बनने के पहले महीने से लागू कर दी और आज 36000 सरकारी कर्मचारी हमारे ओल्ड पेंशन स्कीम के पात्र हैं। लागू ही नहीं की। जो नए आने वाले सरकारी नौकरियां हैं उसमें भी इसको शुरू किया गया है। इसके अलावा हिमाचल प्रदेश देश का पहला ऐसा राज्य है, जहां दूध पर मिनिमम सपोर्ट प्राइस मिलता है। यानी कि हम ग्रामीण अर्थव्यवस्था को मजबूत करने के लिए ग्रामीण अर्थव्यवस्था के विभिन्न पहलुओं को हमने पहचाना। हमारे किस प्रकार से हम अपने उद्योगों को डेरी उद्योग को विकसित कर सकते हैं और हमने अपने पशुपालक, जो गाय रखते हैं या भैंस रखते हैं, 1 लीटर पर हिमाचल प्रदेश की सरकार, जो कृषि पशुपालक है, 51 रुपया प्रति लीटर के हिसाब से दूध की सरकार खरीद करती है। एमएसपी दिया जाता है। उसके अलावा अगर वह दूध पालक जो 2 कि.मी. दूर से दूध लेकर आता है तो 2 रूपये पर लीटर के हिसाब से उसे किराया भी दिया जाता है। हिंदुस्तान का पहला राज्य हिमाचल प्रदेश है जो दूध पर एमएसपी देते हैं। उसके बाद हमने प्राकृतिक खेती को बढ़ावा दिया। और प्राकृतिक खेती को बढ़ावा देने के लिए हमने गेहूं का मिनिमम सपोर्ट प्राइस घोषित किया। मक्की का मिनिमम सपोर्ट प्राइस घोषित किया। जौ का मिनिमम सपोर्ट प्राइस घोषित किया और कच्ची हल्दी का मिनिमम सपोर्ट प्राइस हमने घोषित किया। गेहूं हम किसानों से ₹60 किलो खरीद रहे हैं। मक्की 40 रूपये किलो खरीद रहे हैं। कच्ची हल्दी हम 90 रूपये किलो खरीद रहे हैं। और जो हमारी जौ है उसको हम 40 रुपया से 60 रुपया किलो खरीद रहे हैं। रूलर इकॉनमी कैसे विकसित होगी? मैं बिहार के हालात देखकर यह कह सकता हूं कि गांव का नाम लेकर किसान की आमदनी को दुगना करने की बातें तो राजनीतिक दल करते हैं। हिमाचल प्रदेश में हमने इस प्रकार के दुगनी आय करने की बजाय हमने कहा कि किसान की आय ज्यादा हो और उस दृष्टिकोण से हमने एमएसपी दिया और तकरीबन आज 2,28,000 किसान हमारी जनसंख्या के अनुपात के अनुसार प्राकृतिक खेती से अपना जीवन यापन कर रहे हैं। भाई बिहार में मनरेगा के तहत काम करने वाले बहुत लोग हैं। हिमाचल प्रदेश में मनरेगा के तहत काम करने वाले बहुत कम लोग हैं। हमने अपने संसाधनों से जहां 240 रूपये दिहाड़ी है वहां हमने उसको बढ़ाकर पिछले 3 साल में 80 रूपये की बढ़ोतरी की। 320 रूपये दिहाड़ी हमारी सरकार ने की। हमारी सरकार युवाओं को रोजगार देने के लिए यानी कि यहां बीघा होता है या एकड़ होती है। एक एकड़ में सोलर पावर प्रोजेक्ट लगाने के लिए 4 प्रतिशत इंटरेस्ट पर सोलर पावर 1 मेगावाट का प्रोजेक्ट लगाने के लिए अनुदान सब्सिडी देती है। ई टैक्सी योजना अपने पर्यावरण के अनुसार हिमाचल प्रदेश में हमने शुरू की। ई टैक्सी युवाओं को रोजगार देने के लिए हमने शुरू की। उसमें क्या हमने प्रावधान किया? ई टैक्सी योजना के तहत अगर कोई अनइंप्लॉयड यूथ बेरोजगार युवा साथी हमारी योजना के तहत अगर ई टैक्सी 1 लाख रूपये की खरीदता है तो 1 लाख रूपये का अनुदान हमने अपने युवाओं को दिया। उसके बाद उस युवा की गाड़ी हमने सरकारी क्षेत्र में लगाई और कहा कि 20 लाख की गाड़ी में आपको 10 लाख अनुदान देना पड़ेगा। 10 प्रतिशत मार्जिनल मनी देनी पड़ेगी और 10 प्रतिशत मार्जिनल मनी के बाद सरकार में उसकी 4 साल की गारंटी है यानी कि उसकी गाड़ी 4 साल सरकार में लगेगी और अश्योर्ड मंथली इनकम 65,000 रुपया उस युवा साथी को मिलेगी। हम सरकारी क्षेत्र से गाड़ियों को हटाकर ई व्हीकल की तरफ ले जा रहे हैं। तो यह कटिबद्धता है कांग्रेस की सरकार की कि हिमाचल प्रदेश में किस प्रकार अपने जो युवा साथी हैं, हिमाचल की जनता है, उनकी सेवा की जाए। दुख इस बात का होता है कि बिहार में 20 साल से पूर्व वर्तमान मुख्यमंत्री नीतीश कुमार जी हैं। प्रति व्यक्ति आय बिहार में 57,000 रुपया है। यानी कि 20 साल से जो प्रदेश एक मुख्यमंत्री चुनता हो। एक भारतीय जनता पार्टी और जेडीयू की सरकार चुनता हो। हमारी प्रति व्यक्ति आय 57,000 रुपया है। सुखू जी ने कहा कि बिहार इंडिया गठबंधन दल का संकल्प है: - ओल्ड पेंशन स्कीम लागू करेंगे। - सबको शिक्षा, स्वास्थ्य एवं रोजगार - 25 लाख रूपये तक का मुफ़्त इलाज - महिलाओं को 2500 रूपये प्रतिमाह सीधे खाते में - 8वीं से 12वीं तक के छात्रों को फ्री टैबलेट/कंप्यूटर - विधवा, दिव्यांगजन, वृद्ध पेंशन 1500 रुपया प्रतिमाह से बढ़ाकर 2500 रूपये तक - भूमिहीनों को मकान हेतु 3 से 5 डिसमिल जमीन - गरीब परिवारों को उद्योग के लिए 2,00,000 रूपये तक की सहायता - 200 यूनिट मुफ़्त बिजली - 2000 एकड़ में एजुकेशनल सिटी, इंडस्ट्री क्लस्टर, आईटी पार्क, एसईजेड और डेयरी बेस्ड इंडस्ट्री, एग्रो बेस्ड इंडस्ट्री - सभी जीविका दीदियों का वेतन 30,000 रुपए प्रतिमाह निर्धारित किया जाएगा उन्होंने बताया कि शिक्षा के क्षेत्र में हिमाचल प्रदेश ने भारतीय जनता पार्टी की सरकार थी। क्वालिटी एजुकेशन में हिमाचल में उस समय जब भारतीय जनता पार्टी की सरकार हिमाचल प्रदेश 2021 में थी, हम 21वें स्थान पर थे। असर की रिपोर्ट आई। हमारी सरकार ने शिक्षा नीति में बदलाव किया और हम आज 25 में पांचवें स्थान पर पहुंच गए हैं। जहां प्रति व्यक्ति आय 2,57,000 शिक्षा के क्षेत्र में एजुकेशन हमारी 91 प्रतिशत महिलाओं का शिक्षित होना इस बात को इंगित करता है कि कांग्रेस की विचारधारा, कांग्रेस की विकास की नीति कांग्रेस की सोच आम आदमी तक पहुंचने की महज सोच नहीं है। जीवन बदलने का एक नया तरीका है। यह कांग्रेस पार्टी हिमाचल प्रदेश में कर रही है। बिहार के आंकड़े आपको क्योंकि आने वाले समय में सभी लोग बताते रहते हैं। मैं उन आंकड़ों पर नहीं जाता हूं। एयरपोर्ट से जब मैं आ रहा था तो बिहार का मैं हाल देख रहा था। बिहार जो एक समय विश्व समुदाय का शिक्षा का प्रमुख केंद्र हुआ करता था। तक्षशिला से विक्रमशिला तक यहां लोग शिक्षा प्राप्त करने के लिए आते थे। बुद्ध की धरती है। यह उस धरती में जहां टूरिज्म एक आय का मुख्य स्रोत हो सकता था। इस प्रदेश में आज जो हालात हैं, उसमें बदलाव की जरूरत है और बदलाव कोई और नहीं ला सकता। बदलाव आप पत्रकार बंधु ला सकते हैं। आप पत्रकार बंधु के साथ इस प्रदेश की जनता ला सकती है। एक बार आप बदलाव कीजिए। हमारे महागठबंधन को आप वोट दीजिए। तेजस्वी यादव जो हमारे महागठबंधन के यहां नेता नेतृत्व कर रहे हैं। कांग्रेस पार्टी उसके सहयोग से आगे बढ़ रही है। और एक कांग्रेस की विचारधारा और एक गठबंधन की विचारधारा को आगे लेकर हम जब जाएंगे तो निश्चित रूप से एक नई सोच का उदय होगा। एक नए विचार का उदय होगा और बिहार की जनता में बदलाव की बयार देखने को मिलेगी। यही मैं आपके कहना चाहता हूं और कई बार यह कहा जाता है कि भारतीय जनता पार्टी की सरकार महाराष्ट्र में गई। चुनावों से पहले उन्होंने ढाई हजार देने की बात की। दिल्ली में भी चुनावों से पहले 2000 रुपया महिलाओं को देने की बात की। हिमाचल प्रदेश में 87,000 महिलाओं को प्रथम चरण में 1500 रूपये हर महीने मिल रहे हैं। दूसरे चरण में तीन जिलों में हम 1500 महिलाओं को दे रहे हैं। आर्थिक तंगी के बावजूद भी और प्रदेश में पिछले तीन डिजास्टर्स में तकरीबन डेढ़ लाख लोगों को हमने खोया है। 400 करोड़ की संपत्ति का हमें नुकसान हुआ है। हम उस आपदा से भी लड़ाई लड़ रहे हैं और अपनी जो रोजगार उन्मूलन नीति है, लोगों को साथ लेकर प्रदेश के विकास में हम आगे बढ़ रहे हैं। मैं यह भी कहना चाहूंगा कि हम जिस प्रकार हिमाचल प्रदेश में हमने ओल्ड पेंशन स्कीम लागू की है। यहां भी सरकारी कर्मचारी जो बिहार के हैं, जो अधिकारी बिहार के हैं, चाहे वह क्लास फोर्थ का कर्मचारी है, चाहे वह क्लास थ्री का कर्मचारी है, चाहे वह क्लास टू का कर्मचारी और अधिकारी है। हम यहां ओल्ड पेंशन स्कीम लागू करेंगे। ओल्ड पेंशन स्कीम राजनीतिक लाभ के लिए नहीं कह रहे हैं। अगर राजनीतिक लाभ के लिए कहना होता, तो हमारी सरकार तो 2027 तक है। उन्होंने बताया चुनावों से एक वर्ष पहले हम कहते यह हम इसलिए कह रहे हैं कि हम चाहते हैं कि बिहार के सरकारी कर्मचारी और अधिकारी जिन्होंने बिहार में काम किया है। अपने जीवन के 25 से 30 साल दिए हैं। उन्हें सामाजिक सुरक्षा मुहैया करवाई जाए और सामाजिक सुरक्षा मुहैया करवाने का दायित्व हमारी गठबंधन सरकार का होगा। वह उन्हें ओल्ड पेंशन स्कीम देंगे। सबको शिक्षा, स्वास्थ्य और रोजगार। यह एक नीतिगत विचार लेकर हम आएंगे और किस प्रकार से सेल्फ एंप्लॉयमेंट कैसे मिले और किस प्रकार से लोग आगे उच्च शिक्षा प्राप्त कर सकें जो आज बिहार का साक्षरता दर 70 प्रतिशत है वह भी हिमाचल के संदर्भ में आगे आए। 5 लाख रूपये तक का मुफ्त इलाज हम बिहार के जो नागरिक है उनको उपलब्ध करवाएंगे। यह स्कीम राजस्थान गवर्नमेंट ने लागू की थी। हमारे यहां स्वास्थ्य के क्षेत्र में अच्छी तरक्की हुई। जो भी चीज होती है उसको हम मुफ्त में हिम केयर के माध्यम से उपलब्ध करवाने की कोशिश करते हैं। 500 रुपया महिलाओं को सीधे खाते में जाएंगे। जो महिलाएं हैं वो आत्मनिर्भर बनें। महिला एक ऐसी शक्ति होती है जो एक नई जीवन रेखा का परिचय देती है। इस दृष्टिकोण से हमारी सरकार उन्हें 2500 रुपया प्रतिमाह देगी। शिक्षा के क्षेत्र में मैं आपको बताना चाहता हूं। यहां फ्री टेबलेट की बात की है। हमने शिक्षा के क्षेत्र में महत्वपूर्ण बदलाव किए हैं। हमने सरकारी क्षेत्र में जो शिक्षा संस्थान खुल रहे हैं उन्हें हमने डे बोर्डिंग केस राजीव गांधी डे बोर्डिंग स्कूल बनाया है। यानी कि एक-एक शिक्षा का जो स्कूल है उस स्कूल में हम तकरीबन प्री नर्सरी से लेकर प्लस टू तक की एक ही इंटीग्रेटेड शिक्षा होगी। खेलने के लिए मैदान होगा और दिन का भोजन उन्हें स्कूल में उपलब्ध करवाया जाएगा ताकि पौष्टिक आहार उन्हें मिले और शाम को वो अपने घर जाएंगे। हमने राजीव गांधी डे बोर्डिंग स्कूल कांसेप्ट को विकसित किया है और इस आने वाले समय में उस कांसेप्ट पर हमारा पूरी तरह शिक्षा में बदलाव हो जाएगा। पर यहां 18वीं आठवीं से 12वीं तक फ्री टेबलेट और कंप्यूटर बांटने की बात की गई है। विधवा, दिव्यांगजन, वृद्धावस्था पेंशन 2500 रुपया दी जाएगी। हमारे यहां जितने भी अनाथ बच्चे हैं हिमाचल प्रदेश देश का पहला ऐसा राज्य बना जो बच्चा अपनी मां को खो चुका है। जो बच्चा अपने पिता को खो चुका है। उसके लिए सरकार ने देश का ऐसा पहला कानून बनाया जिसमें मुख्यमंत्री सुख आश्रय योजना का कानून बनाया गया जहां उन्हें सुविधा मिले। यानी इस कानून के माध्यम से सरकार ही माता है और सरकार ही पिता है। पैदा होने से लेकर 17 साल तक की उम्र तक का बच्चे का ख्याल हिमाचल प्रदेश की सरकार रखेगी और जब 18 साल से ऊपर का होगा तो हर महीने उसे 4000 रुपया मिलेगा। साल का 48,000 पॉकेट मनी के लिए रूप में मिलेगी। डॉक्टर बनेगा, इंजीनियर बनेगा उसको कोचिंग डॉक्टर और इंजीनियर बनने के लिए 75,000 रुपया कोचिंग का मिलेगा। और जब डॉक्टर बन जाएगा तो उसकी पूरी डॉक्टर की फीस हिमाचल प्रदेश की सरकार देगी। हॉस्टल में रहने का खर्चा हिमाचल प्रदेश की सरकार देगी। सर्दी के लिए 10,000 रूपये कपड़े का देगी। फेस्टिवल अलाउंस 500 रुपया हर फेस्टिवल का देगी। यह हिमाचल प्रदेश हिंदुस्तान का पहला ऐसा राज्य बना है जहां अनाथ बच्चों के लिए सरकार ही माता है। सरकार ही पिता है। चिल्ड्रन ऑफ द स्टेट का दर्जा दिया गया। इसी तरह प्रदेश की जितनी विधवा महिलाएं हैं जिनकी आय 1 लाख रूपये से कम है उनके बच्चों की पूरी पढ़ाई का खर्चा इंदिरा गांधी सुख शिक्षा योजना के तहत हिमाचल प्रदेश की सरकार दे रही है। सामाजिक कार्य प्रणाली के रूप में अगर हिमाचल प्रदेश में देखा जाए तो जो विधवाएं हैं, एकल नारी हैं उनको घर बनाने के लिए हिमाचल प्रदेश की सरकार ₹ लाख अपने संसाधनों से दी जा रही है। गरीब परिवारों के उद्योगों के लिए सहायता की बात की गई है। 200 यूनिट मुफ्त बिजली की बात की गई है। 2000 एकड़ में एजुकेशनल सिटी इंडस्ट्री क्लस्टर आईटी पार्क एससी जेड और डेयरी बेस्ड इंडस्ट्री एग्रो बेस्ड इंडस्ट्री की बात की गई है। हमने तो डेयरी बेस्ड इंडस्ट्रीज को धरातल पर ला दिया है। और एक परिवार जिसकी इनकम गाय के दूध से जो 1,000 रूपये से 5,000 या 10,000 रुपया होती थी वो 20,000 रुपया हो गई है। कई लोग एमटेक छोड़ के डेयरी इंडस्ट्रीज में लग लगे हैं। पर हमारा वातावरण जो है वह डेयरी इंडस्ट्री और प्राकृतिक प्रेमी से संबंधित हमारे नागरिक वहां के हैं। तो इस दृष्टिकोण से मैं कहना चाहूंगा कि बिहार में बदलाव आना चाहिए और एक बार आप महा गठबंधन को मौका दीजिए। मेरा यह मानना है जिस प्रकार राहुल गांधी जी सब राज्यों का जहां हमारी राज्य सरकारें हैं, वहां उस पर आगे आगे जो भी सोच विचार करके नीतिगत बदलाव ला रहे हैं। उसका फायदा बिहार के लोगों को भी होगा। यही मैं कहना चाहता हूं। यह हमारा बिहार का महागठबंधन का संकल्प पत्र है। संकल्प पत्र के माध्यम से यह एक व्यवस्था परिवर्तन का दौर लाने की कोशिश की जा रही है। हिमाचल प्रदेश में हमने व्यवस्था परिवर्तन किया है और मेरा यह मानना है कि आने वाले समय में मैं यह भी कहना चाहता हूं कि नीतिगत बदलाव व्यवस्था परिवर्तन से हिमाचल प्रदेश आने वाले समय में हिंदुस्तान के सबसे सृष्टिशाली राज्यों में होगा। संतोष झा- ३० अक्टूबर/२०२५/ईएमएस