क्षेत्रीय
24-Dec-2025
...


- भारतीय और अमेरिका के साइबर पोर्टल के माध्यम से 3 करोड़ 72 लाख की रकम फ्रीज होल्ड कर रिकवर कराई - इंटरनेशनल सायबर फ्रॉड द्वारा इंदौर स्थित कंपनी से ऑनलाइन ठगी गई थी रकम भोपाल(ईएमएस)। इंदौर में स्थित एक निजी कंपनी शिवगंगा ड्रिलर्स प्राइवेट लिमिटेड द्वारा अमेरिका के हॉउसटन स्थित उसकी कंपनी के वेंडर, इनोवेक्स इंटरनेशनल इंक को 415,017.58 डॉलर (भारतीय मुद्रा में लगभग 3.72 करोड़ रुपये) इंटरनेशनल ट्रांजैक्शन के माध्यम से व्यापारिक भुगतान किया जाना था। * शातिर जालसाजो ने ऐसे बिछाया जाल साइबर अपराधियों द्वारा इस भुगतान को हासिल करने के लिए बिजनेस ईमेल कंप्रोमाइज (बीईसी) तथा स्पूफिंग ईमेल का उपयोग कर इस रकम की अंतरराष्ट्रीय फॉरेन रेमिटेंस, अमेरिका की जेपी मॉर्गन बैंक के एक संदिग्ध खाते में धोखाधड़ी से ट्रांसफर करवाई गई। स्पूफ ईमेल एक प्रकार का धोखाधड़ी वाला ईमेल होता है, जिसमें प्रेषक अपना ईमेल डोमेन या नाम जाली तरीके से बदल लेता है, ताकि यह किसी भरोसेमंद स्रोत, जैसे बैंक या कंपनी से आया हुआ लगे। इसी प्रकार बिजनेस ईमेल कंप्रोमाइज (बीईसी) धोखाधड़ी वाले भुगतान करने के लिए व्यापारिक प्रतिष्ठानों को निशाना बनाने वाला एक फ्रॉड है। साइबर अपराधियों द्वारा एक बार धोखाधड़ी से उक्त राशि संदिग्ध खाते में ट्रांसफर करवाने के बाद इंदौर स्थित कंपनी को फिर से स्पूफ ईमेल कर सूचित किया कि उनका भुगतान रिजेक्ट हो चुका है। और वह एक अल्टरनेट बैंक अकाउंट उपलब्ध करा रहे हैं, जिस पर इंदौर स्थित कंपनी से री-पेमेंट करने का अनुरोध किया गया। इंदौर स्थित कंपनी ने संदेह होने पर उनके द्वारा अपने वेंडर से टेलीफोन से संपर्क किया तब उन्हें फ्रॉड की जानकारी लगी। * शिकायत मिलते ही इंदौर सेल हुई एक्टित राष्ट्रीय साइबर अपराध पोर्टल पर ऑनलाइन दर्ज कराई एफआईआर इसके बाद अमेंरिका में भी दर्ज की गई शिकायत कंपनी द्वारा स्टेट साइबर सेल इंदौर में शिकायत करने पर फौरन ही राष्ट्रीय साइबर अपराध पोर्टल पर ऑनलाइन प्रकरण दर्ज करवाया गया। शुरुआती जॉच में तथ्य सामने आया कि संदिग्ध बैंक खाता अमेरिका से संबंधित है। इसके बाद अमेरिका में एफबीआई के अधीन इंटरनेट क्राइम कंप्लेंट सेंटर पोर्टल पर भी शिकायत दर्ज करवाई गई ताकि अमेरिका स्थित बैंक खाते में रकम को जल्द ही होल्ड-फ्रीज़ किया जा सके। भारत एवं अमेरिका के साइबर क्राइम पोर्टल पर शिकायत रजिस्ट्रेशन नंबर का संदर्भ देते हुए जेपी मॉर्गन बैंक को आधिकारिक ईमेल से तत्काल सूचना दी गई। इस प्रकार, त्वरित कार्रवाई के परिणामस्वरुप जेपी मॉर्गन बैंक द्वारा संदिग्ध खाते में जमा धोखाधड़ी की राशि को होल्ड किया गया तथा बैंक ऑफ़ इंडिया के माध्यम से जिसमें इंदौर स्थित कंपनी का बैंक एकाउंट है,अंतर्राष्ट्रीय रिकॉल प्रक्रिया प्रारंभ करते हुए वास्तविक वित्तीय धोखाधड़ी को रोकते हुए उक्त कंपनी को यूएस डॉलर की पूरी करम कंपनी को वापस की गई। * इनकी रही सराहनीय भूमिका स्टेट साइबर सेल में पदस्थ निरीक्षक दिनेश वर्मा, उपनिरीक्षक इतेंद्र सिंह द्वारा भारतीय साइबर क्राइम पोर्टल के अलावा अमेरिका के इंटरनेट क्राइम सेंटर से तथा इंदौर स्थित पीड़ित कंपनी को अपने वेंडर से तत्काल ही समन्वय कर फ्रॉड राशि को रिकवर करने में उल्लेखनीय भूमिका निभाई गई। स्टेट साइबर सेल आम नागरिकों एवं व्यापारिक संस्थानों से अपील करता है, कि ई-मेल के जरिये से मिले बैंक विवरण में किसी भी प्रकार के परिवर्तन पर भुगतान से पूर्व स्वतंत्र माध्यम से पुष्टि अवश्य करें तथा संदेह होने पर तत्काल नजदीकी साइबर सेल अथवा राष्ट्रीय साइबर अपराध हेल्पलाइन पर संपर्क करें। जुनेद / 24 दिसंबर