राज्य
05-May-2025


जयपुर (ईएमएस)। शासन सचिव पशुपालन, डेयरी, गोपालन एवं मत्स्य डॉ समित शर्मा ने जिलों को दोपहर के समय भारवाहक पशुओं का उपयोग प्रतिबंधित रखने के संबंध में दिशा निर्देश जारी किए हैं। डॉ शर्मा द्वारा जारी दिशा निर्देश में कहा गया है कि वर्तमान में राज्य के अधिकांश हिस्सों में अत्यधिक तापमान के कारण लू की स्थिति बन रही है। ऐसे मौसम में भारवाहक पशुओं जैसे घोड़े, गधे, खच्चर, भैंस, बैल आदि जानवरों को दोपहर के समय तीखी धूप में काम में लिए जाने से उन्हें हीट स्ट्रोक, निर्जलीकरण, अत्यधिक थकावट और कभी-कभी मृत्यु जैसी गंभीर परिस्थितियों का सामना करना पड़ सकता है। इसलिए पशुओं के कल्याण तथा उनके स्वास्थ्य को देखते हुए उनके प्रति करूणापूर्ण और मानवीय दृष्टिकोण अपनाना अत्यंत आवश्यक है। उन्होंने जिलों को पशुओं के प्रति क्रूरता अधिनियम 1960, 1965 और 2001 के नियमों के अनुरूप पशुओं की देखभाल और उनका उपयोग करने तथा विधिक प्रावधानों की पालना सुनिश्चित करने का निर्देश दिया। डॉ शर्मा ने कहा कि इन नियमों के अनुसार किसी जीव जंतु की देखभाल करने या उसे रखने वाले हर व्यक्ति का यह कर्तव्य है कि वह उनके कल्याण के लिए और उन्हें अनावश्यक पीड़ा या यातना से मुक्त कराने के सभी संभव प्रयास करेगा। जिन क्षेत्रों में अधिकतम तापमान 37 डिग्री से अधिक रहता हो वहां दोपहर 12 से 3 बजे तक भार वाहक पशुओं का उपयोग नहीं करेगा और न ही होने देगा। उन्होंने बताया कि पशुओं के प्रति क्रूरता अधिनियम के एक अन्य नियम के तहत 30 डिग्री सेल्सियस से अधिक तापमान पर किसी जानवर का पैदल परिवहन भी निषेध है। अशोक शर्मा/ 5 बजे/ 5 मई 2025