हिसार,(ईएमएस)। पाकिस्तान के लिए जासूसी की आरोपी यूट्यूबर ज्योति मल्होत्रा के पिता ने पहले दो टूक कहा कि मेरी बेटी पाकिस्तान चली गई तो क्या हो गया। इसमे दिक्कत क्या है? क्या लोग विदेश नहीं जाते, सरकारी अनुमति के बाद ही दूसरे देश में जा सकते हैं। ज्योति भी अनुमति के बाद ही विदेश गई होगी। इस बयान के बाद ज्योति के पिता ने यूटर्न लिया और कहा कि हमे विदेश यात्राओं की कोई जानकारी नहीं है। जासूसी कांड में अपनी बेटी के सवाल पर यूटर्न मारते हुए ज्योति के पिता हरीश मल्होत्रा ने कहा, वह मुझसे कहती थी कि वह दिल्ली जा रही है। उसने मुझे कभी कुछ नहीं बताया। यहां बताना जरूरी है कि इससे पहले हरीश मल्होत्रा ने खुद कहा था कि उनकी बेटी ज्योति मल्होत्रा वीडियो शूट करने के लिए पाकिस्तान गई थी। ज्योति के पिता हरीश ने कहा, उसका कोई दोस्त हमारे घर नहीं आया। पुलिस उसे यहां लाई थी। 15 मिनट के लिए रुकी। वह अपने कपड़े लेकर चली गई, उसने मुझसे कुछ नहीं कहा। मुझे नहीं पता कि मैं क्या कहूं। वह घर पर वीडियो बनाती थी। मैंने कभी नहीं कहा कि उसने पाकिस्तान का दौरा किया, वह मुझसे कहती थी कि वह दिल्ली जा रही है। मेरी कोई मांग नहीं है, जो होना है वह होगा। बता दें कि ट्रैवल विद जो’ नामक यूट्यूब चैनल चलाने वाली ज्योति मल्होत्रा 17 मई को गिरफ्तार हुई थी। हरियाणा पुलिस ने हिसार में पाकिस्तानी एजेंसियों के लिए कथित रूप से जासूसी करने के आरोप में उसे गिरफ्तार किया था। अभी वह पुलिस की रिमांड में है। उससे 100 सवालों की बौछार हुई है। उसे लेकर नया खुलासा यह भी हुआ है कि वह अटैक से पहले पहलगाम गई थी। वह कई बार पाकिस्तान और एक बार चीन जा चुकी है। खास बात है कि ज्योति के पिता हरीश ने शनिवार को अपनी बेटी का बचाव किया था। उसकी गिरफ्तारी पर सवाल उठाते हुए पूछा था कि उसे पाकिस्तान में रहने वाले अपने दोस्तों से संपर्क करने की अनुमति क्यों नहीं दी जानी चाहिए। उन्होंने यह भी कहा कि उनकी बेटी ने पाकिस्तान की यात्रा से पहले सभी आवश्यक अनुमतियां प्राप्त कर ली थीं। इस बीच जांच में पाया गया है कि ज्योति कथित तौर पर दानिश नाम के एक पाकिस्तानी से हनी ट्रैप का शिकार हुई थी। वह पाकिस्तानी उच्चायोग का कर्मचारी है। उसके बारे में कहा जाता है कि उसका संबंध पाकिस्तान की इंटर-सर्विसेज इंटेलिजेंस (आईएसआई) से है। जैसे-जैसे जांच आगे बढ़ रही है, नए खुलासे सामने आए हैं। अब पता चला है कि उसने इस साल अप्रैल में हुए आतंकी हमले से ठीक तीन महीने पहले जम्मू-कश्मीर के पहलगाम का दौरा किया था। वीरेंद्र/ईएमएस/20मई 2025