रायपुर (ईएमएस)। सीबीआई ने रावतपुरा सरकार मेडिकल कॉलेज के अध्यक्ष रवि शंकर महाराज के खिलाफ एफआईआर दर्ज की है। कॉलेज की सीटें बढ़ाने और मान्यता के लिए रिश्वत देने के आरोप में यह मामला दर्ज किया गया है। इस मामले में छत्तीसगढ़, राजस्थान और मध्य प्रदेश सहित सात राज्यों के 36 डॉक्टरों को भी आरोपी बनाया गया है। रिश्वतखोरी के इस सिंडिकेट में तीन दर्जन लोगों की भूमिका सनलिप्त पाई गई है। सीबीआई 6 आरोपियों को पहले ही गिरफ्तार कर चुकी है। न्यायालय से रिमांड लेकर उनसे पूछताछ कर रही है। संत रवि शंकर महाराज को रावतपुरा सरकार के नाम से जाना जाता है। बुंदेलखंड के प्रसिद्ध संत हैं। उनके भक्त देश भर के कई राज्यों में फैले हुए हैं। रावतपुरा सरकार लोक कल्याण ट्रस्ट के अंतर्गत, दर्जनों संस्थाएं संचालित की जा रही हैं। सीबीआई को जांच के दौरान कई दस्तावेजी सबूत प्राप्त हुए हैं। डिजिटल साक्षय भी सीबीआई ने एकत्रित किए हैं। रावतपुरा सरकार की सीधी भूमिका होने के कारण उनके खिलाफ भी मुकदमा दर्ज किया गया है। उलेखनीय है 30 जून को नया रायपुर स्थित रावतपुरा सरकार इंस्टीट्यूट आफ मेडिकल साइंस एंड रिसर्च सेंटर पर सीबीआई की टीम पहुंची थी। सीबीआई ने जिन लोगों को आरोपी बनाया है। उनमें रवि शंकर महाराज अध्यक्ष, अतुल तिवारी निदेशक, डॉ अतुल कुंडू, लक्ष्मी नारायण चंद्राकर, संजय शुक्ल, इंस्पेक्शन टीम के सदस्य डॉक्टर मंजप्पा, डॉक्टर चित्रा,डॉक्टर सतीश, डॉक्टर रजनी रेड्डी, और डॉक्टर अशोक शैलके,डॉक्टर जीतूलाल मीणा, नेशनल हेल्थ अथॉरिटी के संयुक्त संचालक पीयूष मलयाण नेशनल ऑफिसर स्वास्थ्य मंत्रालय, स्वास्थ्य मंत्रालय के अधिकारी पूनम मीना, धर्मवीर, अनूप जायसवाल, राहुल श्रीवास्तव, चंदन कुमार,दीपक कुमार, मनीषा कुमारी, मयूर रावत रजिस्टॉर गीतांजलि यूनिवर्सिटी उदयपुर तथा रावतपुरा सरकार इंस्टीट्यूट आफ मेडिकल साइंस एंड रिसर्च रायपुर को आरोपी बनाया गया है। देश में इस तरह की यह पहली कार्रवाई है। जिसमें स्वास्थ्य मंत्रालय के अधिकारी और डॉक्टर भी आरोपी बनाए गए हैं। एसजे/ 04 जुलाई 25