नई दिल्ली(ईएमएस)। देश के प्रदेशों में भाजपा अध्यक्ष की नियुक्ती के बाद अब भाजपा का राष्ट्रीय अध्यक्ष चुना जाना है।दिलचस्प बात यह है कि इस बार चर्चा है कि पार्टी अपने इतिहास में पहली बार किसी महिला नेता को राष्ट्रीय अध्यक्ष बना सकती है। हालांकि, अब तक दावेदारों में 6 नेताओं के नाम सामने आ चुके हैं। उनमें तीन महिलाएं और तीन पुरुष शामिल हैं। मौजूदा अध्यक्ष जे.पी. नड्डा का कार्यकाल जनवरी 2023 में समाप्त हो चुका था, लेकिन चुनावों को ध्यान में रखते हुए उनके कार्यकाल को जून 2024 तक बढ़ा दिया गया था। अब, भाजपा नए अध्यक्ष की नियुक्ति की तरफ आगे बढ़ रही है। पुरुष दिग्गजों की बात करें तो ओडिशा से आने वाले केंद्रीय मंत्री धर्मेंद्र प्रधान को भाजपा का कुशल रणनीतिकार माना जाता है। वे ओबीसी समुदाय का प्रतिनिधित्व करते हैं और पार्टी के आंतरिक हलकों में गहरी पैठ रखते हैं। उनके नेतृत्व में पार्टी ने कई चुनावी मोर्चों पर शानदार प्रदर्शन किया है। मामा के नाम से लोकप्रिय शिवराज सिंह चौहान मध्य प्रदेश के चार बार मुख्यमंत्री रह चुके हैं और अब केंद्र में मंत्री हैं। वे भाजपा के सबसे लोकप्रिय जननेताओं में गिने जाते हैं। उनकी सहजता, सादगी और ग्रामीण भारत में पकड़ उन्हें पार्टी का एक जन-चेहरा बनाती है। हरियाणा के पूर्व मुख्यमंत्री खट्टर अब केंद्र सरकार का हिस्सा हैं। उनकी प्रशासनिक साख और संघ से निकटता उन्हें राष्ट्रीय स्तर पर उपयुक्त बनाती है। वे पार्टी के उस वर्ग का प्रतिनिधित्व करते हैं जो अनुशासन और कार्यसंस्कृति पर विशेष बल देता है। सूत्रों के अनुसार, भाजपा अगला अध्यक्ष चुनते समय तीन प्रमुख बिंदुओं को ध्यान में रख रही है। उनमें संगठनात्मक अनुभव, क्षेत्रीय संतुलन और जातीय समीकरण। महिला नेतृत्व की संभावना इसलिए भी मजबूत मानी जा रही है क्योंकि भाजपा ने 2023 में महिला आरक्षण विधेयक को संसद में पास कराया था। इसके अलावा, हालिया चुनावों में महिला वोटर्स ने भाजपा को निर्णायक समर्थन दिया है। एक महिला अध्यक्ष पार्टी को सामाजिक और राजनीतिक स्तर पर बड़ा संदेश देने में मदद कर सकती है। देश की पहली पूर्णकालिक महिला वित्त मंत्री और पूर्व रक्षा मंत्री निर्मला सीतारमण न केवल भाजपा की वरिष्ठ नेता हैं, बल्कि वे अंतरराष्ट्रीय मंचों पर भी भारत का मजबूत प्रतिनिधित्व करती रही हैं। वे तमिलनाडु से आती हैं, जहां भाजपा अपनी पैठ मजबूत करना चाहती है। उनकी प्रशासनिक दक्षता और पार्टी नेतृत्व से करीबी उनकी उम्मीदवारी को मजबूत बनाती है। पूर्व केंद्रीय मंत्री और एनटी रामाराव की बेटी डी. पुरंदेश्वरी हाल ही में आंध्र प्रदेश भाजपा प्रमुख रही हैं। वे पार्टी के “ऑपरेशन सिंदूर” जैसे कूटनीतिक मिशन का हिस्सा भी रह चुकी हैं। उनकी बहुभाषीयता और राजनीतिक विरासत उन्हें एक प्रभावशाली दक्षिण भारतीय चेहरा बनाती है।कोयंबटूर दक्षिण से विधायक वानाथी श्रीनिवासन भाजपा महिला मोर्चा की पूर्व राष्ट्रीय अध्यक्ष रह चुकी हैं। 1993 से पार्टी से जुड़ी श्रीनिवासन को 2022 में भाजपा की केंद्रीय चुनाव समिति में जगह मिली थी। ऐसा करने वाली पहली तमिल महिला नेता बनीं। वे जमीनी कार्यकर्ता और संगठन की नब्ज समझने वाली नेता मानी जाती हैं। वीरेंद्र/ईएमएस/05जुलाई2025