गरियाबंद(ईएमएस)। गरियाबंद के जंगलों से बड़ी खबर आई है कि उदंती एरिया कमेटी ने दिवाली के शुभ मुहूर्त पर अपने सशस्त्र संघर्ष को हमेशा के लिए विराम देने का ऐलान किया है। सूत्रों के मुताबिक, 20 अक्टूबर को कमेटी अपने सभी साथियों के साथ हथियारों सहित आत्मसमर्पण करने की तैयारी कर रही है, ताकि सदस्य नई जिंदगी की शुरुआत कर सकें। बताया जा रहा है कि पिछले कुछ समय से आंदोलन पहले ही कमजोर हो चुका था। कमेटी के प्रमुख सोनू दादा और रूपेश दादा के आत्मसमर्पण के बाद से नक्सली गतिविधियों में गिरावट आई थी। सुरक्षा बलों के दबाव और रणनीतिक चूक के कारण अब सशस्त्र क्रांति को असंभव माना जा रहा है। उदंती कमेटी ने गोबरा, सीनापाली और सीतानदी यूनिट के सदस्यों से अपील की है कि वे भी जल्द मुख्यधारा में लौट आएं। एसपी निखिल राखेचा ने इस ऐतिहासिक फैसले का स्वागत करते हुए कहा कि यह गरियाबंद में स्थायी शांति की शुरुआत है और अब बाकी नक्सलियों के लिए भी पुनर्वास के दरवाजे खुले हैं। सत्यप्रकाश(ईएमएस)18 अक्टूबर 2025