लंदन (ईएमएस)। दुनिया में कई लोग ऐसे हुए हैं जो दावा करते हैं कि वे मौत के दरवाज़े तक गए और फिर लौट आए। ऐसे अनुभवों को नियर डेथ एक्सपीरियंस कहा जाता है। स्वीडन की 42 वर्षीय जेनेट हेडस्ट्रॉम भी ऐसी ही एक महिला हैं, जिन्होंने दावा किया कि उन्होंने मौत के बाद की दुनिया देखी और वहां से वापस आईं। जुलाई 2004 में जेनेट और उनकी बहन जॉनशोपिंग शहर के पास एक भीषण सड़क हादसे का शिकार हो गईं। आमने-सामने की टक्कर में जेनेट की हालत इतनी गंभीर थी कि डॉक्टरों को लगा, वे मौके पर ही दम तोड़ चुकी होंगी। सीट बेल्ट के दबाव से उनके सभी आंतरिक अंग दिल के पास खिसक गए थे, आंतें और डायफ्राम फट गए थे, दोनों फेफड़े पंचर हो गए थे। दर्द से कराहते हुए वे बार-बार कह रही थीं, “मैं मर रही हूं।” इसी दौरान जेनेट ने महसूस किया कि वे अपने शरीर से बाहर निकल रही हैं और एक तेज़ प्रकाश की ओर बढ़ रही हैं। वहां उन्हें दो फरिश्ते और उनकी दिवंगत गॉडमदर की आत्मा मिली। उन्होंने खुद को एक शांतिपूर्ण “वेटिंग रूम” में पाया। जेनेट के मुताबिक, उस जगह पर उन्हें यह बताया गया कि यह उनकी आत्मा की यात्रा का केवल एक पड़ाव है और उन्हें वापस लौटकर जीवन जीना होगा। इस दौरान उन्हें अपने भविष्य की झलक भी दिखाई गई उनके होने वाले पति, उनके बच्चे और वह सब कुछ जो वे हासिल करेंगी यदि वे ज़िंदा लौटने का चुनाव करें। जेनेट कहती हैं, “मुझे बताया गया कि अगर मैं मर जाती हूं तो उन बच्चों की रोशनी बुझ जाएगी जिनसे मैं अभी मिली भी नहीं थी। तभी मैंने तय किया कि मुझे लौटना है।” तीन दिन बाद वे अस्पताल में होश में आईं, जबकि डॉक्टरों ने उनकी उम्मीद छोड़ दी थी। उनके सभी आंतरिक अंग अस्थायी रूप से बाहर रखे गए थे और फ्लूड से शरीर को भरा गया था, ताकि वापस रखने में दिक्कत न हो। जेनेट कहती हैं, “मैंने वहां अपने पति की आत्मा को महसूस किया था और बाद में वही मेरे जीवन में आया। मैंने अपने बच्चों की ऊर्जा भी वहां महसूस की थी।” चमत्कारिक रूप से, न केवल वे ज़िंदा बचीं बल्कि एक महीने के भीतर पूरी तरह स्वस्थ हो गईं। उनकी पीठ की तीन हड्डियों को जोड़कर फ्यूज किया गया, हाथ में टाइटेनियम रॉड लगाई गई और पलकों की सर्जरी हुई, लेकिन आज उनके शरीर पर कोई स्थायी चोट का असर नहीं दिखता। आज जेनेट स्वीडन के जंगलों में “सेवन लेक्स” नाम का एक क्रिएटिव हीलिंग सेंटर चलाती हैं। सुदामा/ईएमएस 17 अगस्त 2025