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23-Oct-2025
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नई दिल्ली(ईएमएस)। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी मलेशिया में 26 अक्टूबर से होने वाले आसियान समिट में हिस्सा लेने नहीं लेंगे। प्रधानमंत्री ने बुधवार की शाम को मलेशिया के प्रधानमंत्री अनवर इब्राहिम से फोन पर बातचीत की। दोनों प्रधानमंत्रियों ने आसियान और द्विपक्षीय मसलों पर चर्चा की। इस बातचीत में साफ हो गया कि पीएम मोदी आसियान समिट में भाग नहीं लेंगे। इस तरह मलेशिया दौरा न होने की वजह से पीएम मोदी और ट्रंप मुलाकात की संभावना भी खत्म हो गई। यहां बताना जरूरी है कि आसियान में अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप हिस्सा ले रहे हैं। डोनाल्ड ट्रंप उम्मीद लगाए बैठे थे कि यहां उनकी मुलाकात पीएम मोदी और शी जिनपिंग से होगी। मगर पीएम मोदी की ओर से यह कन्फर्म हो गया है वह इस समिट में भाग नहीं ले रहे हैं। भारत की ओर से विदेश मंत्री एस जयशंकर आसियान समिट में प्रतिनिधित्व करेंगे। डोनाल्ड ट्रंप के अलावा, चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग इस समिट में शामिल होंगे। ट्रंप शी जिनपिंग से भी मुलाकात को लेकर आतुर हैं। बहरहाल, आसियान समिट में अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की पीएम मोदी संग संभावित मुलाकात की राहें अब बंद हो गई हैं। दरअसल, आसियान (दक्षिण पूर्वी एशियाई राष्ट्रों का संगठन) शिखर सम्मेलन 26 से 28 अक्टूबर तक कुआलालंपुर में आयोजित किया जाएगा। शिखर सम्मेलन से संबंधित विचार-विमर्श में भारत की भागीदारी के स्तर पर कोई आधिकारिक बयान जारी नहीं किया गया है। सूत्रों ने बताया कि भारत ने मलेशिया को सूचित किया है कि जयशंकर आसियान बैठकों में भारत का प्रतिनिधित्व करेंगे। आसियान-भारत शिखर सम्मेलन में प्रधानमंत्री मोदी के डिजिटल माध्यम से भाग लेने की संभावना है। हालांकि, यह कन्फर्म है कि पीएम मोदी आसियान समिट में शामिल होने मलेशिया नहीं जा रहे हैं। पीएम मोदी की मलेशिया के पीएम अनवर इब्राहिम के साथ फोन वार्ता बुधवार शाम को हुई। पीएम मोदी ने पहले से तय कार्यक्रम का हवाला देकर आसियान समिट में शामिल न होने की बात कही। दोनों नेताओं ने आसियान के साथ भारत के मजबूत संबंधों पर जोर दिया। चर्चा में इंडो-पैसिफिक क्षेत्र में शांति, व्यापार, निवेश और जलवायु परिवर्तन जैसे मुद्दों पर विचार-विमर्श हुआ। पीएम मोदी ने भारत की ‘एक्ट ईस्ट’ नीति को मजबूत करने की प्रतिबद्धता दोहराई, जबकि अनवर ने मलेशिया के माध्यम से आसियान-भारत साझेदारी को गहरा करने पर सहमति जताई। द्विपक्षीय स्तर पर दोनों ने व्यापार घाटे को कम करने, डिजिटल अर्थव्यवस्था में सहयोग और सांस्कृतिक आदान-प्रदान जैसे विषयों पर बात की। आसियान-भारत संवाद संबंध 1992 में एक क्षेत्रीय साझेदारी की स्थापना के साथ शुरू हुए। ये दिसंबर 1995 में पूर्ण संवाद साझेदारी और 2002 में शिखर सम्मेलन स्तर की साझेदारी में परिवर्तित हुए। इन संबंधों को 2012 में रणनीतिक साझेदारी का दर्जा दिया गया। आसियान के 10 सदस्य देश इंडोनेशिया, मलेशिया, फिलीपीन, सिंगापुर, थाईलैंड, ब्रुनेई, वियतनाम, लाओस, म्यांमा और कंबोडिया हैं। वीरेंद्र/ईएमएस/23अक्टूबर2025