राज्य
07-Nov-2025


* राज्य स्तर पर निरीक्षण के बाद 2 अस्पताल निलंबित, 2 को कारण बताओ नोटिस जारी गांधीनगर (ईएमएस)| मुख्यमंत्री भूपेंद्र पटेल और उपमुख्यमंत्री हर्ष सांघवी के मार्गदर्शन में तथा स्वास्थ्य मंत्री प्रफुल पानसेरिया के निर्देशानुसार, सरकारी योजना में अनियमितता बरतने वाले अस्पतालों के खिलाफ राज्य स्तर पर कड़ी कार्रवाई की गई है। आकस्मिक निरीक्षण के दौरान योजना के दिशा-निर्देशों का पालन न होने पर 4 निजी अस्पतालों में से 2 अस्पतालों को निलंबित किया गया है, जबकि 2 अस्पतालों को कारण बताओ नोटिस भेजा गया है। * अस्पतालवार कार्रवाई का विस्तृत विवरण 1. दीप चिल्ड्रन हॉस्पिटल एंड नियोनेटल केयर, गोधरा, पंचमहाल (HOSP24T130518) ➡ स्थिति: निलंबित PICU और NICU के आवश्यक मानकों की पूर्ति नहीं थी एक्सपायर्ड दवाएं पाई गईं MBBS डॉक्टर उपस्थित नहीं थे लाभार्थियों को योजना संबंधी जानकारी देने वाला कियोस्क स्थापित नहीं था संक्रमण नियंत्रण के दिशा-निर्देशों का पालन नहीं किया गया 2. काशीमा हॉस्पिटल, भरूच (HOSP24T170981) ➡ स्थिति: निलंबित PICU और NICU के मानक पूरे नहीं थे संक्रमण नियंत्रण के दिशा-निर्देशों का पालन नहीं किया गया लाभार्थियों को योजना की जानकारी देने वाला कियोस्क नहीं था नर्सिंग स्टाफ योग्य नहीं था दोपहर 12 बजे तक चिकित्सक उपस्थित नहीं थे भवन उपयोग की अनुमति (BU परमिशन) और फायर NOC उपलब्ध नहीं थी 3. माँ चिल्ड्रन एंड जनरल हॉस्पिटल, कालोल, पंचमहाल (HOSP24T132829) ➡ स्थिति: कारण बताओ नोटिस जारी लाभार्थियों को योजना संबंधी जानकारी देने वाला कियोस्क स्थापित नहीं था 4. माँ चिल्ड्रन एंड नियोनेटल केयर, देवगढ़ बारिया, दाहोद (HOSP24T148571) ➡ स्थिति: कारण बताओ नोटिस जारी NICU में एक्सपायर्ड दवाएं मिलीं अस्पताल ने CCTV फुटेज देने से इनकार किया लाभार्थियों को योजना संबंधी जानकारी देने वाला कियोस्क स्थापित नहीं था स्वास्थ्य मंत्री प्रफुल पानसेरिया ने देर रात बयान जारी करते हुए कहा कि “राज्य सरकार स्वास्थ्य सेवाओं को और अधिक सुचारू, पारदर्शी और जनहितकारी बनाने के लिए सतत प्रयासरत है। मुख्यमंत्री भूपेंद्र पटेल के मार्गदर्शन में स्वास्थ्य क्षेत्र में मानवता को सर्वोच्च प्राथमिकता दी जा रही है। पीएमजेएवाई–मा योजना गरीब और जरूरतमंद नागरिकों के लिए किसी वरदान से कम नहीं है, इसलिए किसी भी प्रकार की गड़बड़ी या मानवीय लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी।” उन्होंने आगे कहा कि “भविष्य में भी यदि कोई अस्पताल सरकारी योजनाओं में मानव सेवा के विरुद्ध कार्य करेगा, तो राज्य सरकार उसके खिलाफ सबसे सख्त कार्रवाई करेगी।” सतीश/07 नवंबर