राज्य
27-Nov-2025
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इन्दौर (ईएमएस) एक सनसनीखेज मामले के उजागर होने के बाद इन्दौर के एक्सीडेंटल एम पी शंकर लालवानी पर भी उंगलियां उठनी शुरू हो गई है। मामला उनके बेटे की अय्याशी का जिसमें उसने क्रेडिट कार्ड के जरिए लाखों रूपए उडा दिए। बैंक की कलेक्शन टीम पिछले कई दिनों से शंकर लालवानी के बेटे से मिलने के लिए उसके घर के चक्कर लगा रही है। परन्तु हर बार उन्हें यह कहकर लौटा दिया जाता है कि “भैया घर पर नहीं हैं।” बताया जा रहा है कि इस मामले में बैंक अधिकारी सांसद से भी मिल चुके हैं, लेकिन मामला अब तक सुलझ नहीं पाया है। बताया जा रहा है कि इन्दौर के सांसद शंकर लालवानी के बेटे मीत लालवानी ने एचडीएफसी बैंक से पहली बार 2014 में 2 लाख रुपए का क्रेडिट कार्ड लोन लिया था, जिसकी किस्तें समय पर भरी जा रही थीं। इसके बाद 2019 में 6 लाख और 2022 में लगभग 14 लाख रुपए का नया लोन स्वीकृत हुआ। बैंक अधिकारी का कहना है कि वर्ष 2024 से मीत ने पूरी तरह किस्तें जमा करना बंद कर दिया। फोन कॉल, ई-मेल और रजिस्टर्ड पत्र भेजने के बावजूद कोई प्रतिक्रिया नहीं मिली। बैंक कलेक्शन टीम के मैनेजर हर्षवर्धन एस. रावत के अनुसार बैंक स्टेटमेंट की जांच में खुलासा हुआ है कि मीत ने ऑनलाइन पोकर, एक्को और ब्लूबर्ड जैसे गेम्स पर लाखों रुपए खर्च किए। इन्हीं सट्टेबाजी जैसे गेम्स में पैसा हारने के कारण उसने लोन की किश्तें रोक दीं। बैंक अधिकारी के अनुसार बार-बार मौके देने के बाद भी भुगतान न होने पर अब कानूनी कार्रवाई अनिवार्य हो गई है। जिसके चलते एचडीएफसी बैंक की ओर से ‘कांसेप्ट लॉ एसोसिएट’ द्वारा मीत को एक विधिक नोटिस जारी किया गया है। नोटिस में उन्हें सुबह 10 से शाम 5 बजे के बीच कलेक्शन मैनेजर से मुलाकात कर बकाया राशि जमा करने के लिए कहा गया, लेकिन अब तक मीत ने कोई जवाब नहीं दिया न ही मिला है। बैंक के वकील एडवोकेट संतोष शर्मा का कहना है कि यदि राशि का भुगतान नहीं हुआ तो भारतीय न्याय संहिता की धारा 316(2) और 318(4) के तहत मामला दर्ज किया जाएगा। इन धाराओं में पांच साल तक की सजा और आर्थिक दंड का प्रावधान है। हालांकि मामले में शंकर लालवानी के बेटे मीत लालवानी का कहना है कि मेरे ऊपर एचडीएफसी का कोई लोन नहीं है , मैंने एचडीएफसी बैंक से कभी लोन लिया ही नहीं। मेरा केवल आईसीआईसीआई बैंक का लोन है और उसकी सभी किस्तें नियमित जमा कर रहा हूं। क्रेडिट कार्ड लोन की पूरी कहानी झूठी है। मामले में अभी तक सांसद शंकर लालवानी की कोई प्रतिक्रिया सामने नहीं आई है। फिलहाल बैंक अब मीत के इस बयान पर क्या एक्शन लेता है इसका इंतजार है।‌ आनन्द पुरोहित/ 27 नवंबर 2025