एनएसयूआई की शिकायत पर राज्य सायबर पुलिस मुख्यालय ने क्राइम ब्रांच को सौंपी जांच भोपाल(ईएमएस)। मध्यप्रदेश में नर्सिंग कॉलेजों द्वारा मान्यता प्राप्त करने के लिए किए गए ऑनलाइन आवेदनों में बड़े पैमाने पर अनियमितताओं को लेकर अब जांच की जिम्मेदारी भोपाल क्राइम ब्रांच को सौंपी गई है। यह कार्यवाही एनएसयूआई प्रदेश उपाध्यक्ष रवि परमार की शिकायत के बाद की गई है। जानकारी के अनुसार राज्य सायबर पुलिस मुख्यालय, भोपाल द्वारा जारी पत्र में उल्लेख किया गया है, कि एनएसयूआई के प्रदेश उपाध्यक्ष रवि परमार द्वारा डाक के माध्यम से प्राप्त शिकायत में नर्सेस रजिस्ट्रेशन काउंसिल के पोर्टल पर नर्सिंग कॉलेजों द्वारा किए गए आवेदनों में गंभीर गड़बड़ियों की ओर ध्यान आकर्षित कराया गया था। उक्त शिकायत में संबंधित दस्तावेज़ों एवं मोबाइल नंबरों की जांच करने का अनुरोध किया गया था। राज्य सायबर सेल ने इस मामले को साइबर अपराध की श्रेणी में गंभीरता से लेते हुए इसकी जांच के लिए क्राइम ब्रांच, भोपाल के पुलिस उपायुक्त को आवश्यक कार्यवाही हेतु निर्देशित किया है। - ऑन लाइन किये गए आवेदनो में कई कमियां-रवि परमार फिर भी मिलीभगत से दे दी गई मान्यता एनएसयूआई प्रदेश उपाध्यक्ष रवि परमार ने कहा कि “मध्यप्रदेश नर्सेस रजिस्ट्रेशन काउंसिल के एमपी ऑनलाइन पोर्टल के माध्यम से नर्सिंग कॉलेजों द्वारा जो आवेदन मान्यता के लिए किए गए हैं, उनमें भारी स्तर पर नियमों का उल्लंघन किया गया है। कई कॉलेजों ने फर्जी दस्तावेज़ों और अधूरी जानकारियों के बावजूद मान्यता प्राप्त कर ली। यह सिर्फ प्रशासनिक लापरवाही नहीं बल्कि शिक्षा माफिया, कुछ अधिकारियों और निजी सेवा प्रदाता कंपनी द्वारा किया गया संगठित साइबर अपराध है।”परमार का आरोप है कि “एमपी ऑनलाइन और नर्सेस रजिस्ट्रेशन काउंसिल दोनों की मिलीभगत से जिन कॉलेजों को गलत तरीके से मान्यता प्रदान की गई है।”जब तक इस संगठित अपराध में शामिल कॉलेज संचालकों, नर्सेस काउंसिल अधिकारियों और निजी कंपनी के जिम्मेदार पदाधिकारियों पर कठोर कार्रवाई नहीं की जाती, तब तक एनएसयूआई छात्रहितों की इस लड़ाई को सड़क से लेकर शासन-प्रशासन तक जारी रखेगी । जुनेद / 27 अक्टूबर