:: अखंड धाम आश्रम पर अखिल भारतीय संत सम्मेलन का समापन; संस्थापक ब्रह्मलीन स्वामी अखंडानंद महाराज को हजारों दीपों से दी गई महाआरती :: इंदौर (ईएमएस)। संत, विद्वान और महापुरुषों का चिंतन हमेशा समाज के कल्याण की दृष्टि से होता है। सेवा, त्याग और परमार्थ के भाव से किए गए उनके कर्म युगों-युगों तक हमारा मार्गदर्शन करते हैं, क्योंकि सदकर्मों की सुगंध कभी नष्ट नहीं हो सकती। मनुष्य का शरीर भले ही नश्वर हो, लेकिन उनके कर्म हमेशा स्मृति पटल पर अंकित रहते हैं। अखंड धाम के संस्थापक ब्रह्मलीन स्वामी अखंडानंद महाराज ऐसे ही तपोनिष्ठ संत थे, जिन्होंने सनातन धर्म और संस्कृति को आगे बढ़ाने के लिए अपना समूचा जीवन समर्पित किया। यह दिव्य विचार बिजासन रोड स्थित अविनाशी अखंड धाम आश्रम पर चल रहे 58वें अखिल भारतीय अखंड वेदांत संत सम्मेलन के समापन अवसर पर आश्रम के महामंडलेश्वर डॉ. स्वामी चेतन स्वरुप ने व्यक्त किए। :: हजारों दीपों से महाआरती का अनूठा आयोजन :: प्रख्यात संत महर्षि उत्तम स्वामी के सानिध्य में, स्वामी अखंडानंद महाराज को पुष्पांजलि एवं उनके चित्र के समक्ष हजारों दीपों से महाआरती का अनूठा और परंपरागत आयोजन संपन्न हुआ। हजारों श्रद्धालु, विशेषकर महिलाएं, अपने-अपने घरों से दीपकों की थाली और फूलों से श्रृंगारित आरती सजाकर लाई थीं। जैसे ही महाआरती शुरू हुई, अखंड धाम परिसर में मौजूद श्रद्धालुओं की आस्था और श्रद्धा देखते लायक थी। पुष्पांजलि सभा में महामंडलेश्वर स्वामी चेतन स्वरुप ने कहा कि स्वामी अखंडानंद महाराज की यादें हमारे लिए मील का पत्थर बनाकर हमेशा मार्गदर्शन करती रहेंगी। स्वामी अखंडानंद जी ने पूरे देश में 300 से अधिक आश्रमों की नींव रखकर धर्म, संस्कृति, सेवा और परमार्थ के प्रकल्पों की स्थापना की जो आज भी जीवंत हैं। :: संतों और समाजसेवियों ने सुनाए प्रेरक प्रसंग :: पुष्पांजलि सभा में आश्रम परिवार के वरिष्ठ न्यासी और समाजसेवी प्रेमचंद गोयल, निर्मल गुप्ता (उज्जैन), मन्नूलाल गर्ग (देवास), हरि अग्रवाल, ठा. विजय सिंह परिहार, सुश्री किरण ओझा तथा संत समाज की ओर से वृंदावन से आए स्वामी जगदीश्वरानंद, डाकोर से आए स्वामी देवकीनंदन दास, साध्वी आदित्य चेतना गिरि, चौबारा जागीर से आए संत नारायणानंद, संत केशवानंद, संत राजानंद आदि ने ब्रह्मलीन अखंडानंद महाराज से जुड़े प्रेरक प्रसंग सुनाए। प्रारंभ में आयोजन समिति की ओर से स्वागताध्यक्ष विष्णु बिंदल, अध्यक्ष हरि अग्रवाल, संयोजक अशोक गोयल, महासचिव दीपक जैन टीनू सहित सभी पदाधिकारियों ने संतों एवं मेहमानों का स्वागत किया। मंच का संचालन हरि अग्रवाल एवं स्वामी नारायणानंद ने किया। अंत में अध्यक्ष हरि अग्रवाल ने सात दिवसीय संत सम्मेलन में सहयोग देने वाले सभी संतों, भक्तों, मीडिया, प्रशासन, पुलिस, दानदाता एवं कार्यकर्ता बंधुओं का आभार व्यक्त किया। प्रकाश/10 दिसम्बर 2025 संलग्न चित्र: बिजासन रोड स्थित अविनाशी अखंड धाम आश्रम पर 58वें अ.भा. अखंड वेदांत संत सम्मेलन में महर्षि उत्तम स्वामी द्वारा आरती और महामंडलेश्वर स्वामी चेतन स्वरुप एवं श्रद्धालुओं द्वारा की गई महाआरती का विहंगम दृश्य।